नई दिल्ली: दिल्ली के फिरोजशाह कोटला मैदान पर खेले जा रहे तीसरे और अंतिम टेस्ट मैच का तीसरा दिन भी समय से पहले खत्म करना पड़ा. कम रोशनी के कारण भी दूसरे दिन का खेल भी दल्द खत्म करना पड़ा था. हालांकि इसका मैच पर शायद ही कोई असर दिखे. तीसरे दिन का खेल जब खत्म किया गया उस वक्त श्रीलंका भारत के पहली पारी के आधार पर 180 रन पीछे थी जबकि आखिरी जोड़ी मैदान पर थी.


तीसरे टेस्ट में भारत के जीत के इंतजार को आगे बढ़ाया कप्तान दिनेश चांदीमल और पूर्व कप्तान एंजेलो मैथ्यूज के शतक ने. आखिरी सेशन में जल्द विकेट गंवाने के बाद श्रीलंका ने नौ विकेट पर 356 रन बना लिए हैं. चांदीमल ने 341 गेंद की अपनी पारी में 18 चौंकों और एक छक्के की मदद से नाबाद 147 रन बनाए. उन्होंने मौजूदा सीरीज में शतक जड़ने वाले पहले श्रीलंकाई बल्लेबाज मैथ्यूज के साथ चौथे विकेट के लिए 181 रन की साझेदारी भी की. ये दोनों उस समय बल्लेबाजी के लिए साथ आए थे जब टीम कल 75 रन पर तीन विकेट गंवाने के बाद संकट में थी. इन दोनों ने भारतीय गेंदबाजों को 79.2 ओवर तक सफलता से महरूम रखा.


मैथ्यूज ने छह, 93, 98 और 104 रन पर मिले चार जीवनदान का फायदा उठाते हुए छह घंटे से अधिक की अपनी पारी में 268 गेंद का सामना करते हुए 14 चैके और दो छक्के जड़े. मैथ्यूज को तीन जीवनदान विकेट से पीछे मिले जो साउथ अफ्रीका दौरे से पहले चिंता की बात है.


भारत की ओर से ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन ने 90 रन देकर तीन विकेट चटकाए. इशांत शर्मा (93 रन पर दो विकेट), मोहम्मद शमी (74 रन पर दो विकेट) और रविंद्र जडेजा (85 रन पर दो विकेट) ने दो-दो विकेट हासिल किए.


भारत ने पहली पारी सात विकेट पर 536 रन बनाकर घोषित की थी जिससे श्रीलंका की टीम अब भी 180 रन पीछे है जबकि उसका एक विकेट शेष है.


श्रीलंका की टीम सुबह तीन विकेट पर 131 रन से आगे खेलने उतरी. मैथ्यूज और चांदीमल ने सुबह काफी सतर्कता के साथ बल्लेबाजी की और सुबह के सेशन में 26.3 ओवर के खेल के दौरान 61 रन जोड़े और भारतीय गेंदबाजों को कोई सफलता हासिल नहीं करने दी. दूसरे सेशन में भी श्रीलंका के बल्लेबाजों ने काफी धीमी बल्लेबाजी की और टीम ने 31 ओवर में 78 रन जोड़कर मैथ्यूज का विकेट गंवाया. टीम हालांकि अंतिम सेशन में 28 ओवर में 86 रन जोड़कर पांच विकेट गंवा बैठी.


कल प्रदूषण के सुर्खियां बनने के बाद कोटला पर हालात आज सुबह भी काफी अच्छे नहीं थे. श्रीलंकाई खिलाड़ियों पर भी इसका असर दिखा जब दिन के खेल के शुरूआती आधे घंटे के बाद ही चांदीमल ने सांस में तकलीफ की शिकायत की जिसके कारण लगभग तीन मिनट खेल रूका रहा.


मैदान के समीप आईटीओ के वायु गुणवत्ता सूचकांक (एक्यूआई) के अनुसार 11 बजे तक एक्यूआई 400 के आंकड़े को पार कर गया जो सेहत के लिए काफी खतरनाक माना जाता है,.कल जब दो बार खेल रोका गया तो एक्यूआई 200 से कुछ अधिक था, दोपहर एक बजे तक हालांकि स्थिति में सुधार हुआ और एक्यूआई 192 पर आ गया,


मैथ्यूज ने आज 57 रन से आगे खेलते हुए मोहम्मद शमी पर दिन का पहला चौका जड़ा, चांदीमल ने जडेजा पर चौके के साथ 54वें ओवर में श्रीलंका का स्कोर 150 रन के पार पहुंचाया,


श्रीलंकाई कप्तान ने शमी पर चौके के साथ 145 गेंद में मौजूदा सीरीज का लगातार तीसरा पचासा पूरा किया.


लंच के बाद जडेजा की गेंद पर भारत के लिए विकेट हासिल करने का मौका बना लेकिन बायें हाथ के इस स्पिनर की नीची रहती गेंद मैथ्यूज के बल्ले का किनारा लेने के बाद विकेटकीपर ऋद्धिमान साहा के पैरों के बीच से चार रन के लिए चली गई. मैथ्यूज इस समय 93 रन बनाकर खेल रहे थे.


भारत ने 81वें ओवर के बाद दूसरी नयी गेंद ली. विराट कोहली ने गेंद इशांत शर्मा को थमाई. इशांत की पहली ही गेंद ने मैथ्यूज के बल्ले का बाहरी किनारा लिया लेकिन इस बार दूसरी स्लिप में रोहित शर्मा ने उनका बेहद आसान कैच टपका दिया. इस समय मैथ्यूज 98 रन बनाकर खेल रहे थे. कल कोहली ने भी इशांत की गेंद पर मैथ्यूज को जीवनदान दिया था. मैथ्यूज ने इशांत के इसी ओवर में दो रन के साथ 231 गेंद में अपना आठवां टेस्ट शतक पूरा किया. मैथ्यूज ने अपना पिछला शतक दो साल से भी अधिक समय पहले अगस्त 2015 में गाले में भारत के खिलाफ ही मारा था. दायें हाथ का यह बल्लेबाज इस बीच 36 पारियों में शतक नहीं जड़ पाया.


मैथ्यूज को 104 रन के स्कोर पर चैथा जीवनदान मिला जब स्थानापन्न खिलाड़ी विजय शंकर जडेजा की गेंद पर मिड ऑफ पर उनका कैच लपकने में नाकाम रहे और गेंद उनके हाथ से टकराकर चार रन के लिए चली गई.


अश्विन ने हालांकि टी से 10 मिनट पहले 98वें ओवर में उनकी पारी पर विराम लगा दिया जब इस ऑफ स्पिनर की एंगल लेती गेंद मैथ्यूज के बल्ले का किनारा लेकर साहा के दस्तानों में समा गई.


चांदीमल ने टी के बाद अश्विन की गेंद पर एक रन के साथ 265 गेंद में 10वां शतक पूरा किया. चांदीमल ने 80वीं पारी में 10 शतक पूरे किए जो श्रीलंकाई रिकॉर्ड है. उनसे पहले तिलन समरवीरा ने 84 पारियों में यह उपलब्धि हासिल की थी.


पहले दिन मुरली विजय का शॉट हेलमेट में लगने के बाद मैदान से बाहर रहे सदीरा समरविक्रम शुरू से ही लय में नजर आए. उन्होंने जडेजा पर लगातार दो चौके जड़ने के अलावा अश्विन पर भी दो चौके मारे.


चांदीमल ने जडेजा पर चौके के साथ 111वें ओवर में टीम का स्कोर 300 रन के पार पहुंचाया.


समरविक्रम हालांकि इसके बाद इशांत से ऑफ साइड से बाहर की गेंद से छेड़छाड़ की कोशिश में साहा को कैच दे बैठे जिन्होंने अपनी दायीं ओर गोता लगाते हुए एक साथ से शानदार कैच लपका. समरविक्रम ने 61 गेंद में सात चौकों से 33 रन बनाए और कप्तान के साथ 61 रन जोड़े.


डेब्यू कर रहे रोशन सिल्वा सिर्फ चार गेंद खेलकर खाता खोले बिना ही अश्विन की गेंद पर शॉर्ट लेग पर शिखर धवन को कैच दे बैठे.


अश्विन ने इसके बाद निरोशन डिकवेला (00) को बोल्ड करके श्रीलंका स्कोर सात विकेट पर 322 रन किया. डिकवेला अश्विन की सीधी गेंद को चूककर अपना ऑफ स्टंप गंवा बैठे.


शमी ने गेंदबाजी में वापसी करते हुए सुरंगा लकमल (05) को साहा के हाथों कैच कराके भारत को आठवीं सफलता दिलाई.


शमी की गेंद इसके बाद चांदीमल के बल्ले का किनारा लेकर गली और स्लिप के बीच से चार रन के लिए जिससे श्रीलंका ने फॉलोऑन बचाया.


जडेजा ने लाहिरू गमागे (01) को पगबाधा करके श्रीलंका को नौवां झटका दिया.