Olympic 2020: कोरोना वायरस के कहर की वजह से टोक्यो में होने वाले 32वें ओलंपिक खेलों का आयोजन एक साल के लिए टाल दिया गया है. कोरोना वायरस के खतरे की वजह से कनाडा, अमेरिका, जर्मनी, इंग्लैंड जैसे कई देश जापान में इस साल होने वाले ओलंपिक खेलों के लिए अपने खिलाड़ी भेजने को तैयार नहीं थे. इन देशों की मांग को मानते हुए अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति ने खेलों को एक साल के टालने का फैसला किया.
ओलंपिक खेलों के इतिहास में यह हालांकि पहला मौका नहीं है जब किसी वजह से ओलंपिक खेलों का आयोजन समय पर नहीं हो रहा है. इससे पहले पहले और दूसरे विश्व युद्ध के दौरान तो ओलंपिक खेलों को रद्द ही कर दिया गया था. मॉर्डन इतिहास में 1916, 1940 और 1944 तीन ऐसे मौके आए हैं जब ओलंपिक खेलों का आयोजन रद्द कर दिया गया था.
जीसस क्राइस्ट के जन्म से पुराना है ओलंपिक खेलों का इतिहास
ओलंपिक खेलों का इतिहास जीसस क्राइस्ट के जन्म से भी पुराना है. क्राइस्ट के जन्म से पहले 776 BC में ग्रीस के एथेंक्स में पहली बार ओलंपिक खेलों का आयोजन हुआ था. इसके बाद जीसस क्राइस्ट के जन्म के 6 शताब्दी बाद तक ओलंपिक खेलों का आयोजन तक होता रहा. उस वक्त भी ओलंपिक खेलों का आयोजन प्रत्येक चार साल के बाद होता था. उस वक्त ओलंपिक खेलों का आयोजन सिर्फ ग्रीस के एंथेक्स में ही होता था.
ओलंपिक खेलों के पहली बार थमने के बारे में कोई साफ जानकारी नहीं है. इतिहासकारों ने ओलंपिक के पहली बार थमने को लेकर अलग-अलग तारीख बताई हैं. कुछ इतिहासकारों का मानना है कि ओलंपिक खेलों का आयोजन 393AD में थमा, जबकि कुछ इतिहास मानते हैं कि 426AD में ओलंपिक खेलों के आयोजन पर रोक लगा दी गई थी.
19वीं शताब्दी में दोबारा हुई खेलों की शुरुआत
मॉर्डन वर्ल्ड में ओलंपिक खेलों को दोबारा शुरू करवाने की कोशिश 1821 में ग्रीस वार के बाद शुरू हुई. 1833 में ग्रीस में ओलंपिक खेलों को दोबारा शुरू करने की मांग होने लगी. इसके बाद 1856 में ग्रीस के राजा के सामने ओलंपिक खेलों को फिर से करवाने की मांग को उठाया गया.
1890 में ओलंपिक खेलों के दोबारा आयोजन के लिए इंटरनेशनल ओलंपिक कमेटी को बनाया गया. इस कमेटी ने पहला सुझाव हर चार साल के अंतराल पर ओलंपिक खेलों का आयोजन करवाने का दिया. 1894 में यह फैसला लिया गया कि दोबारा आयोजित होने वाले ओलंपिक खेलों की बागडोर इंटरनेशनल ओलंपिक कमेटी के हाथ में ही रहेगी. आईओसी ने 1896 में ग्रीस के एथेंस शहर में ही दोबारा से ओलंपिक खेलों के आयोजन का फैसला किया.
तीन बार रद्द हुए ओलंपिक खेल
एथेंस में 1896 में हुए पहले ओलंपिक खेलों में 14 देशों के 241 एथिटल्स ने हिस्सा लिया. पहले ओलंपिक खेलों में 43 इवेंट रखे गए थे. इसके बाद ओलंपिक खेलों के सिलसिले को आगे बढ़ाते चार साल बाद 1900 में इन खेलों का आयोजन फ्रांस के पेरिस शहर में किया गया. 1904 में अमेरिका ने तीसरे ओलंपिक खेलों का आयोजन किया. 1916 तक हर चार साल बाद ओलंपिक खेलों का आयोजन होता रहा.
1916 के ओलंपिक खेलों का आयोजन जर्मनी में होना था. लेकिन प्रथम विश्व युद्ध की वजह से छठे ओलंपिक खेलों के आयोजन को रद्द कर दिया गया. चार साल बाद हालांकि ओलंपिक खेलों का आयोजन फिर से शुरू हो गया. 1920 में नौवें ओलंपिक खेलों का आयोजन बेल्जियम में हुआ.
1936 तक दोबारा से ओलंपिक खेलों का आयोजन चलता रहा. 1936 में 11वें ओलंपिक खेलों का आयोजन जर्मनी में हुआ. 12वें ओलंपिक खेलों का आयोजन जापान में होना था. लेकिन दूसरे विश्व युद्ध की वजह से इन्हें टाल दिया गया. 1944 में इंग्लैंड में होने वाले 13वें ओलंपिक खेलों का आयोजन भी दूसरे विश्व युद्ध की वजह से रद्द किया गया. 1948 में ओलंपिक खेलों का आयोजन बिट्रेन में किया गया.
1980 और 1984 में भी हुआ विवाद
ओलंपिक खेलों के आयोजन में 1980 में 1984 में भी विवाद देखने को मिला. 1980 में मोस्को में हुए ओलंपिक खेलों में 65 देशों ने हिस्सा लेने से इंकार कर दिया. इन देशों ने सोवियत संघ के अफगानिस्तान के ऊपर किए गए आक्रमण का विरोध किया था.
1984 में अमेरिका में 23वें ओलंपिक खेलों का आयोजन हुआ. इन खेलों में सोवियत संघ ने हिस्सा नहीं लिया. सोवियत संघ का कहना था कि अमेरिका में उसे अपने एथिटल्स को सुरक्षा मिलने पर भरोसा नहीं है. सोवियत संघ ने इस बात को लेकर अपने खिलाड़ी 23वें ओलंपिक में नहीं भेजे.
हालांकि 1988 से दक्षिण कोरिया में हुए ओलंपिक खेलों से 2016 में हुए ब्राजील में हुए 31वें ओलंपिक खेलों में कोई बड़ा विवाद देखने को नहीं मिला. लेकिन 2020 में टोक्यो में होने वाले 32वें ओलंपिक खेलों का आयोजन कोरोना वायरस की वजह से टल गया है. इंटरनेशनल ओलंपिक कमेटी ने हालांकि साफ किया है कि अगले साल होने वाले ओलंपिक खेलों को टोक्यो 2020 नाम ही दिया जाएगा और उसमें कोई बदलाव नहीं होगा.
Olympic 2020: कोरोना वायरस की वजह से टोक्यो ओलंपिक टला, एक साल बाद होगा आयोजन