नई दिल्ली: टीम इंडिया के विवादित गेंदबाज एस श्रीसंत कुछ समय पहले ये मान चुके थे कि वो अब दोबारा कभी टीम इंडिया की जर्सी नहीं पहन पाएंगे. उन्होंने अपना आखिरी टेस्ट मैच साल 2011 में इंग्लैंड के खिलाफ ओवल में खेला था. लेकिन साल 2013 के आईपीएल में स्पॉट फिक्सिंग ने उनका करियर चौपट कर दिया. श्रीसंत हर उस विवाद में फंसते चले गए जिसके बारे में उन्होंने कभी सोचा नहीं था.


पिछले सात सालों से एक भी मैच नहीं खेलने वाले श्रीसंत को अभी भी भरोसा है कि वो टीम इंडिया में वापसी कर सकते हैं. उन्होंने कहा कि वो अंत तक टीम में वापसी के लिए लड़ेंगे. श्रीसंत ने कहा कि जो उनके पिता ने उन्हें कहा था कि जब तक जिंदा हो तब तक लड़ते रहना. ये बात वो कभी नहीं भूल सकते.


श्रीसंत ने कहा कि उन्हें उम्मीद है कि चमत्कार कभी भी हो सकता है. मुझे हमेशा भरोसा था कि मैं वर्ल्ड कप खेलूंगा और मैं खेला. चमत्कार तब होते हैं जब आप अपने में विश्वास करते हो.


श्रीसंत को आज भी साल 2007 वर्ल्ड टी20 में कैच लेने के लिए याद किया जाएगा. उस मैच में उन्होंने मिस्बाह उल हक का कैच लिया था जहां भारत ने पाकिस्तान को हराकर पहली बार वर्ल्ड टी20 पर कब्जा किया था और टीम चैंपियन बनी थी. वहीं श्रींसत साल 2011 वर्ल्ड कप फाइनल टीम का भी हिस्सा थे जब टीम ने 50 ओवर वाला वर्ल्ड कप अपने नाम किय था.