ईरान की इकलौती ओलंपिक विजेता महिला ने देश छोड़ दिया है. 21 वर्षीय महिला का नाम कीमिया अली जादे है. उन्होंने देश छोड़ने के पीछे ईरान में झूठ, फरेब और दोहरे रवैये को कारण बताया है. सोशल मीडिया पर पोस्ट लिखकर उन्होंने बताया कि ऐसे माहौल में उनका रहना दूभर हो गया था. साथ ही वो ऐसे सिस्टम का हिस्सा नहीं बनना चाहतीं. जहां महिलाओं का अपमान होता हो. उन्होंने खुद को लाखों पीड़ित महिलाओं में से एक बताया.


कौन हैं कीमिया अली जादे ?


कीमिया अली जादे 2016 में रियो ओलंपिक्स में ताईकवांडों में कांस्य पदक जीता था. उनका आरोप है कि ईरान में अधिकारियों उनकी कामयाबी को प्रोपैगंडा के तौर पर इस्तेमाल किया गया. साथ ही उन्हें सालों बेवकूफ बनाया जाता रहा. कीमिया अली जादे ने कहा, मैंने वही पहना जो अधिकारियों ने बताया, वही बोला जैसा मुझे आदेश दिया गया. यहां तक कि जो कुछ भी मुझे बोलने के लिए कहा गया मैंने पालन किया. उन्होंने अधिकारियों पर गंभीर आरोप लगाते हुए कहा कि उनके लिए वो सिर्फ हथियार थीं. उनका कहना है कि सरकार उनकी कामयाबी को राजनीतिक उद्देश्य के लिए इस्तेमाल करती थी लेकिन अधिकारी उन्हें आपत्तिजनक शब्दों के जरिए उनका अपमान करते थे.


पिछले हफ्ते कीमिया अली जादे के लापता होने की खबर आई थी. जिसके बाद ईरान में सनसनी फैल गयी थी. लेकिन जब उनसे पूछा गया कि क्या उन्हें यूरोप से ऑफर मिला है ? इस सवाल का उन्होंने खंडन किया. हालांकि उन्होंने ये नहीं बताया कि किस मुल्क में उन्हें पनाह मिली है. सूत्रों के मुताबिक, अली जादे 2020 में टोकियो ओलंपिक्स में शिरकत करना चाहती हैं. मगर बतौर ईरानी नागरिक नहीं.