गुवाहाटी: असम सरकार सभी राज्य संचालित मदरसों को बंद करने जा रही है. राज्य के शिक्षा मंत्री हिमंत बिस्वा सरमा ने कहा है कि इस बारे में नवंबर में नॉटिफिकेशन जारी किया जाएगा. शिक्षा मंत्री का कहना है कि जनता के रुपयों से धार्मिक शिक्षा देने का प्रावधान नहीं है, इसलिए सरकारी मदरसे बंद किए जाएंगे. करीब 100 संस्कृत स्कूल भी इस दौरान बंद किए जाएंगे.
असम शिक्षा मंत्री ने कहा, 'सभी राज्य संचालित मदरसों को सामान्य स्कूलों में बदल दिया जाएगा या कुछ मामलों में टीचरों को राज्य संचालित स्कूलों में भेज दिया जाएगा और मदरसों को बंद कर दिया जाएगा. नवंबर में एक अधिसूचना के जरिए विस्तार से जानकारी दी जाएगी.'
हिमंत बिस्वा सरमा ने ये भी कहा, 'मेरी राय में सरकारी पैसे से कुरान नहीं पढ़ाया जा सकता है. अगर हमें ऐसा करना है तो हमें बाइबल और भगवद गीता दोनों को भी सिखाना चाहिए. इसलिए हम एकरूपता लाना चाहते हैं और इस प्रथा को रोकना चाहते हैं.'
असम में 614 सरकारी मदरसे
एक रिपोर्ट के अनुसार, असम सरकार की ओर से 614 मदरसों का संचालन किया जा रहा है. इसके अलावा करीब 900 प्राइवेट मदरसे संचालित हो रहे हैं. राज्य में 100 सरकारी संस्कृत मदरसे हैं. हालांकि प्राइवेट मदरसों पर अभी सरकार ने कुछ नहीं कहा है.
मदरसा एक ऐसा शैक्षिक संस्थान है, जहां कुरान के साथ-साथ इस्लामिक संस्कृति को गणित, व्याकरण, कविता और इतिहास के साथ पढ़ाया जाता है. एक रिपोर्ट के अनुसार, देश में करीब 4 फीसदी मुस्लिम छात्र इन मदरसों में पढ़ाई करते हैं.
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