बिहार: प्रचंड गर्मी के बीच AES ने दी दस्तक, अब तक आठ केस आए सामने, अलर्ट मोड पर स्वास्थ्य महकमा
AES in Bihar: सिविल सर्जन डॉ. वीरेंद्र कुमार ने कहा कि फिलहाल एक बच्चा भर्ती है, जिसमें मंगलवार को एईएस की पुष्टि हुई है. जबकि अन्य को ठीक होने के बाद डिस्चार्ज किया जा चुका है.
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मुजफ्फरपुर: बिहार में पड़ रहे प्रचंड गर्मी के बीच एक्यूट इंसेफ्लाइटिस सिंड्रोम (एईएस) ने फिर से दस्तक दे दिया है. प्रदेश के मुजफ्फरपुर जिले में चार बच्चों में एईएस की पुष्टि हुई है. इसके अलावा अन्य जिलों के चार बच्चों में भी बीमारी की पुष्टि हुई है. बच्चों में एईएस की पुष्टि के बाद स्वास्थ्य विभाग अलर्ट मोड पर आ गया है. इस संबंध में सीएस डॉ. वीरेंद्र कुमार ने बताया जनवरी से अब तक एईएस के कुल आठ केस सामने आए हैं, जिसमें चार मुजफ्फरपुर. जबकि चार अन्य जिलों के हैं. वहीं, एक बच्चे की मौत भी हुई है.
बीते दो-तीन दिनों में बढ़े मरीज
बता दें कि तापमान में वृद्धि के साथ ही एईएस (चमकी बुखार) के मामले में तेजी से वृद्धि दर्ज की गई है. बीते दो से तीन दिनों में मरीजों का आंकड़ा चार से बढ़कर आठ हो गया है. हालांकि, राहत की बात ये है कि किसी भी बच्चे की स्थिति गंभीर नहीं है. अब तक एक बच्चे की मौत हुई है. लेकिन वो एईएस से ही पीड़ित था, इसकी पुष्टि नहीं हुई है. जबकि अन्य बच्चों को डिस्चार्ज कर दिया गया है. अभी केवल एक बच्चा अस्पताल में भर्ती है.
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2019 में सैकड़ों बच्चों की हुई थी मौत
सिविल सर्जन डॉ. वीरेंद्र कुमार ने कहा कि फिलहाल एक बच्चा भर्ती है, जिसमें मंगलवार को एईएस की पुष्टि हुई है. जबकि अन्य को ठीक होने के बाद डिस्चार्ज किया जा चुका है. एईएस का यह आंकड़ा अब तक इस वर्ष का है. जबकि साल 2019 में एईएस ने बड़ा कहर बरपाया था. बीमारी के कारण 150 से ज्यादा बच्चों की मौत हो गई थी. इस कारण सरकार की खूब फजीहत हुई थी. ऐसे में मुजफ्फरपुर स्थित एसकेएमसीएच मेडिकल कॉलेज में PICU वार्ड का निर्माण कराया गया था. हालांकि, वर्ष 2020 और 2021 में पूर्व की भांति कम मामले सामने आए थे.
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