Bihar News: CPIML के विधायक मनोज मंजिल की विधानसभा सदस्यता रद्द, हत्या मामले में कोर्ट ने सुनाई थी सजा
Manoj Manzil: मनोज मंजिल को आरा के एमपी/एमएलए कोर्ट ने एक मामले में दोषी पाया है. इसके बाद उनकी विधायकी को लेकर बिहार विधानसभा सचिवालय द्वारा अधिसूचना जारी की गई है.
पटना: आरा के एमपी/एमएलए अदालत द्वारा हत्या के एक मामले में आजीवन कारावास की सजा सुनाए जाने के बाद सीपीआई (एमएल) विधायक मनोज मंजिल (Manoj Manzil) को बिहार विधानसभा से अयोग्य घोषित कर दिया गया है. इसकी अधिसूचना बिहार विधानसभा सचिवालय के द्वारा शुक्रवार को जारी की गई है. अगिआंव विधानसभा क्षेत्र के भाकपा माले विधायक मनोज मंजिल की मुश्किलें और बढ़ गई हैं. चार दिन पूर्व 13 फरवरी 2024 को आरा कोर्ट से उम्र कैद की सजा के बाद उनके विधायक की सदस्यता रद्द कर दी गई है.
अधिसूचना में लिखा है ये
बिहार विधानसभा के सचिव राजकुमार के द्वारा दिए गए अधिसूचना के तहत निर्देशित किया गया है कि माननीय न्यायालय द्वारा अगिआंव विधानसभा 195 के विधायक मनोज मंजिल के विरुद्ध दोषसिद्धि एवं दंडादेश के परिणाम स्वरूप जनप्रतिनिधि अधिनियम 1951 की धारा -8 तथा संविधान के अनुच्छेद 191(1)(c) के प्रावधानों के तहत मनोज मंजिल को दोषसिद्धि की 13/02/2024 के प्रभाव से बिहार विधानसभा की सदस्यता से निरर्हित किया जाता है.
हत्या मामले में सुनाई गई है सजा
बता दें कि अगस्त 2015 में भोजपुर के बड़गांव में जय प्रकाश सिंह के हत्या के मामले में 13 फरवरी 2024 को अगिआंव विधानसभा क्षेत्र 195 से विधायक मनोज मंजिल समेत 23 आरोपी को आरा कोर्ट ने उम्रकैद के साथ साथ 25 हजार रुपए के अर्थ दंड की सजा सुनाई गई थी. अगस्त 2015 में अजीमाबाद थाना क्षेत्र के बड़गांव में 20 अगस्त को हुई माले नेता सतीश यादव की हत्या के सप्ताह भर बाद चौरी थाना क्षेत्र के बेरथ पुल के समीप नहर किनारे से एक शव बरामद किया गया था. शव बरामद किए जाने के बाद शव की शिनाख्त नहीं हो पाई थी. बाद में आरा सदर अस्पताल में शव के अंत्यपरीक्षण कराए जाने के दौरान जयप्रकाश सिंह के पुत्र चंदन ने उस शव की पहचान अपने पिता के रूप में की थी.
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