मुजफ्फरपुर: बागेश्वर धाम (Bageshwar Dham) के पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री (Dhirendra Krishna Shastri) की मुश्किलें बढ़ती दिख रही हैं. मुजफ्फरपुर जिले के एसीजीएम फर्स्ट वेस्ट के कोर्ट में हिंदुओं की भावना को आहत पहुंचने के मामले में उनके खिलाफ सोमवार परिवाद दायर किया गया है. भगवान की तुलना खुद से की जाने को लेकर परिवाद दायर किया गया है. इस मामले में अगली सुनवाई 10 मई 2023 को रखा गया है. वहीं, बता दें कि बागेश्वर धाम के सरकार का कार्यक्रम 13 से 17 मई तक पटना के गांधी मैदान में होगा. पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के पटना आगमन को लेकर बिहार की राजनीति गरमा गई है.


इन धाराओं में मामला दर्ज


परिवादी सह अधिवक्ता सूरज कुमार ने बताया कि धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के द्वारा खुद को भगवान हनुमान का अवतार बताकर हिंदू समाज का रक्षक करने वाला बयान दिया था, जिसको लेकर आज मुजफ्फरपुर की कोर्ट में हिंदू धर्म की भावना को ठेस पहुंचाने को लेकर परिवाद दायर किया गया है, जिसमें आईपीसी की धारा 295(क) 298 और 505 के तहत मामला को दर्ज कराया है. 


'हिंदू धर्म की भावना को आहत करता है'


अधिवक्ता सूरज कुमार ने बताया कि राजस्थान के एक धार्मिक आयोजन के दौरान में बागेश्वर धाम के पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के द्वारा एक बयान जारी किया गया था, जिसमें उन्होंने खुद को भगवान हनुमान का अवतार बताकर हिंदू धर्म की रक्षा करने वाला खुद को बताया था, जो कि हिंदू धर्म की भावना को आहत करता है. कोई इंसान खुद को भगवान का रूप बताकर अवतार कैसे बता सकता है? जो कही न कही हिंदू धर्म को गुमराह करने की उनकी सोच को बताता है. इससे आहत होकर कोर्ट में मामला को दर्ज कराया है, जिसको कोर्ट ने स्वीकार करते हुए मामले में सुनवाई की तिथि 10 मई मुकर्रर किया है.


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