जहानाबाद: बिहार के जहानाबाद में केन्द्र सरकार द्वारा चलाई जा रही महत्वाकांक्षी प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना में  बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ है. डीएम नवीन कुमार के निर्देश पर विभाग द्वारा कराए गए जांच में पाया गया कि लघु और सीमांत किसानों के लिए केन्द्र सरकार द्वारा पिछले वर्ष शुरू की गई इस योजना का लाभ वैसे किसान भी अनुचित तरीके से उठा रहे हैं, जो बड़े पैमाने पर सरकार को प्रति वर्ष इनकम टैक्स जमा करते हैं.


जरूरतमंद किसानों को नहीं मिला योजना का लाभ


मिली जानकारी अनुसार मंझोले और छोटे किसान जिन्हें योजना के तहत तीन किश्तों में प्रत्येक वर्ष छह हजार रुपये की राशि मिलने वाली थी, वो उन्हें मिलने के बजाय इनकम टैक्स भरने वाले किसानों को मिल रही है. जबकि कई  छोटे किसान जिन्होंने कई बार इस योजना के तहत फॉर्म भरा था, उनके खाते में एक फूटी कौड़ी भी नहीं आई.


हालांकि, जांच के बाद सतर्क हुए कृषि विभाग ने इनकम टैक्स अदा करने वाले सभी किसानों को नोटिस भेज कर योजना का पैसा लौटने का निर्देश दिया है. वहीं, ज़िले में चयनित तकरीबन नब्बे हज़ार किसान के संबंध में जांच भी शुरू कर दी है. इस संबंध में कृषि पदाधिकारी सुनील कुमार ने बताया कि कई किसानों द्वारा तथ्यों को छुपाया गया है, जिसकी वजह से इतने किसानों को योजना की राशि मिल गयी.


इस योजना के तहत मिलने वाली राशि की जिला प्रशासन द्वारा कराई गई जांच में जिले के सातों प्रखंड के तकरीबन 267 किसान के बारे में पता चला है जो बड़ी खेती के मालिक और इनकम टैक्स अदा करने वाले हैं. जांच के बाद सभी किसानों को नोटिस भेज कर योजना की राशि लौटाने की हिदायत दी गयी है.