पटना: बिहार के नवादा जिले में होली से लेकर अब तक जहरीली शराब पीने की वजह से 12 लोगों की मौत हो चुकी है. शराब बंदी वाले राज्य में जहरीली शराब पीने की वजह से एक के बाद एक 12 लोगों की मौत से प्रशासनिक महकमे में हड़कंप मच गया है. मामले के तूल पकड़ने के बाद पुलिस पूरे मामले की जांच करने में जुट गई है. इधर, शुक्रवार को सीएम नीतीश ने भी पूरे मामले में चुप्पी तोड़ी और कहा कि पूरे मामले की जांच के लिए स्पेशल टीम नवादा गई है. एक-एक बात की जानकारी ली जाएगी. वहीं, जो जरूरी कार्रवाई है, वो की जाएगी.


जांच के लिए जाएगी स्पेशल टीम


मुख्यमंत्री नीतीश कुमार कहा कि ये जो कुछ भी हो रहा है, इसके बारे में हमारे वरीय पदाधिकारी गण से हमने पूछा था और अभी सभी जांच कर रहे हैं. यहां से भी कुछ लोग जांच के लिए गए हैं. वहां भी जो अधिकारी हैं और जो बातें समाचार पत्रों में आ रही हैं, उसके जांच लिए यहां से एक स्पेशल टीम जा रही है, जो एक-एक चीज को देख कर कार्रवाई करेगी.


बाल हृदय योजना का किया शुभारंभ


बता दें कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शुक्रवार को बिहार की राजधानी पटना में आयोजित कार्यक्रम में सात निश्चय-2 के अंतर्गत सबके लिये अतिरिक्त स्वास्थ्य सुविधा के तहत बाल हृदय योजना का शुभारंभ किया. इस दौरान मुख्यमंत्री ने प्रशांति मेडिकल सर्विसेज एण्ड रिसर्च फाउंडेशन के अहमदाबाद स्थित अस्पताल में इलाज के लिए अभिभावकों के साथ विमान से भेजे जा रहे 21 हृदय रोग ग्रस्त बच्चों को पटना हवाई अड्डा तक ले जा रही बसों को हरी झंडी दिखाकर रवाना किया.


शुभारंभ समारोह के बाद पत्रकारों से बातचीत करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि पिछले वर्ष इसकी चर्चा हुई और चुनाव के बाद नई सरकार के गठन के बाद सात निश्चय-2 के अंतर्गत सबके लिये अतिरिक्त स्वास्थ्य सुविधा के तहत हृदय में छेद के साथ जन्मे बच्चों का मुफ्त उपचार की व्यवस्था के लिए बाल हृदय योजना को कैबिनेट से मंजूरी दी गई.


जांच के बाद शुरू की जाएगी इलाज


उन्होंने कहा कि इन बच्चों के इलाज के लिए 1 अप्रैल 2021 से बाल हृदय योजना की और आज उसका शुभारंभ किया गया. इंदिरा गांधी हृदय रोग संस्थान, पटना और इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान, पटना में जांच की व्यवस्था की गई और उसके बाद इलाज किया शुरूआत की गई जायेगा.


मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार अपनी तरफ से हृदय रोग से ग्रस्त बच्चों के इलाज की पूरी व्यवस्था करेगी. अहमदाबाद स्थित संस्था में बाल हृदय रोगियों का मुफ्त इलाज किया जाता है. राज्य सरकार बच्चों और उनके अभिभावकों के वहां आने-जाने के खर्च सहित उनकी सारी व्यवस्था करेगी. इलाज के उपरांत जब बच्चे वापस आ जायेंगे तो स्वास्थ्य मंत्री समेत विभाग के अन्य अधिकारी उनका स्वागत करेंगे.


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