ACS S Siddharth: बिहार के सरकारी स्कूलों में शिक्षा की गुणवत्ता और ज्यादा कैसे सुधरे इसको लेकर विभाग के अपर मुख्य सचिव एस सिद्धार्थ एक्शन में दिख रहे हैं. खुद ही जाकर कई स्कूलों का निरीक्षण कर रहे हैं और व्यवस्था को भी देख रहे हैं. साथ ही सुधार के लिए गाइडलाइन भी जारी कर रहे हैं. शिक्षक कैसे समय पर आएं इसके लिए ई-शिक्षाकोष पोर्टल पर ऑनलाइन अटेंडेंस अनिवार्य कर दिया गया है. अब बीते बुधवार (28 अगस्त) को एक और आदेश जारी हुआ है.


दरअसल, स्कूलों में सही ढंग से पठन-पाठन हो, नियमित समय से स्कूल चले, बच्चों को किसी प्रकार की कोई परेशानी नहीं हो इसको लेकर एस सिद्धार्थ ने 8000 कर्मियों का जांच दल तैयार किया है. जांच दल स्कूलों में जाकर इंफ्रास्ट्रक्चर, व्यवस्था और पठन-पाठन में अगर कहीं कोई कमी हो रही है तो उसे दूर करेंगे. जो दूर होने लायक नहीं है उसे ई-शिक्षाकोष पोर्टल पर डालकर वरीय अधिकारियों को अवगत कराएंगे.


गाइडलाइन में और क्या कुछ है?


जारी निर्देश में कहा गया है कि 8000 कर्मी बिहार के सभी सरकारी स्कूलों का अनुश्रवण करेंगे. एक कर्मी को तीन महीने के लिए 10 से 15 विद्यालय आवंटित होंगे. ये कर्मी इन स्कूलों का निरीक्षण करेंगे और व्यवस्था देखें. स्कूलों में जाकर वहां की कमियों के बारे में जानकारी लेंके और प्रधानाध्यापक एवं शिक्षक के साथ स्कूल के सही संचालन पर विचार-विमर्श करेंगे.


यह भी कहा गया है कि जिस कर्मी को जितने स्कूल आवंटित किए जाएंगे उसमें उन्हें एक सप्ताह में कम से कम एक दिन जरूर जाना होगा. सुविधा के अनुसार वह ज्यादा दिन भी जा सकते हैं. मुख्य रूप से विद्यालयों के भवन एवं उसके रंग रोगन का अवलोकन करना, निर्माण की प्रगति, विद्यालय की गुणवत्ता, किचन सेट, गैस चूल्हा, थाली आदि की व्यवस्था देखनी है. छात्र-छात्राओं के लिए शौचालय की व्यवस्था कैसी है और साफ-सफाई कैसी है यह भी देखना है. 


स्कूलों में पेयजल की सुविधा, इंफ्रास्ट्रक्चर में बेंच डेस्क, प्रयोगशाला, पुस्तकालय, लैब आदि की व्यवस्था कैसी है इसकी भी जांच करनी है. विद्यालय में पंखा, ट्यूबलाइट, बल्ब पर भी ध्यान देना है. खेल मैदान कैसा है, खेल सामग्री विद्यालय में है या नहीं इसको भी देखना होगा. इसी तरह और भी निर्देश दिए गए हैं.


एस सिद्धार्थ ने अपने पत्र में सख्त निर्देश दिया है कि अनुश्रवण कर्ता पत्र में दिए गए सभी कामों का अनुपालन करेंगे. खानापूर्ति की तो कार्रवाई की जाएगी. उन्होंने इसके लिए बड़े अधिकारियों को भी शामिल किया है और मुख्यालय से प्रत्येक सप्ताह 10-10 विद्यालयों की सूची भेजी जाएगी. इसकी जांच उप विकास आयुक्त, वरीय उपसमाहर्ता और अनुमंडल पदाधिकारी करेंगे. जांच का प्रतिवेदन मुख्यालय को उपलब्ध कराना होगा. इनकी जांच और अनुश्रवण कर्ता की जांच दोनों का मिलान किया जाएगा. 


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