नई दिल्ली: बिहार विधानसभा चुनाव के लिए कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र को 'बदलाव पत्र' नाम दिया है. कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र के लिए आम लोगों से सुझाव मांगा है और इसके लिए एक मिस कॉल नम्बर जारी किया है. इसके साथ ही सुझाव के लिए 'बिहार की बात' नाम से एक वेबसाइट भी शुरू की गई है. कांग्रेस अपने घोषणापत्र में 18 महीने में सभी सरकारी रिक्तियों को भरने का वादा करने जा रही है.


बिहार कांग्रेस की घोषणापत्र समिति के अध्यक्ष आनंद माधव ने बताया कि इससे पहले समिति ने अलग-अलग वर्गों के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए आधा दर्जन से ज्यादा बैठकें भी की हैं. उन्होंने कहा कि बिहार में बेरोजगारी सबसे बड़ा मुद्दा है.


प्रेस विज्ञप्ति जारी कर कांग्रेस ने बताया है कि वह अपने घोषणापत्र में सभी सरकारी खाली पदों को 18 महीने के अंदर भरने, समान काम के लिए समान वेतन देने और रोजगार के अवसर बढ़ाने का वादा करेगी. इसके अलावा शिक्षा, स्वास्थ्य व्यवस्था की बेहतरी और कुपोषण जैसे मुद्दे घोषणापत्र के प्रमुख एजेंडे में शामिल होगा. कानून व्यवस्था दुरुस्त करने, उद्योग धंधे लाने से लेकर किसानों को उचित मूल्य दिलाने जैसे वादे भी कांग्रेस करने जा रही है.


लोगों के सुझाव आमंत्रित करते हुए बिहार कांग्रेस ने ट्वीट किया है- बिहार को एक आदर्श राज्य बनाने के लिए हमारे बदलाव पत्र का हिस्सा बनिए. आपके द्वारा दिए गए सुझाव हमारे लिए महत्वपूर्ण हैं. अपने सुझाव इन माध्यमों से हम तक पहुंचाएं:
मिस्ड कॉल : 1800121000033
ई मेल : manifesto@biharkibaat.org
वेबसाइट : biharkibaat.org
फेसबुक, ट्विटर: #BiharKiBaat


बिहार में कांग्रेस, आरजेडी और वामदलों के साथ गठबंधन में चुनाव लड़ रही है. सभी दल अपना अपना घोषणापत्र जारी करेंगे और इसके साथ ही गठबंधन की तरफ से एक साझा न्यूनतम कार्यक्रम की घोषणा भी की जा सकती है.


आरजेडी की तरफ से मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार तेजस्वी यादव पहले ही एलान कर चुके हैं कि उनकी सरकार अपने पहले फैसले में दस लाख युवाओं को रोजगार देगी.


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