बिहार: छात्र जीवन से हीं नेतृत्व क्षमता रखते हैं विधान सभा के अध्यक्ष,विजय सिन्हा ने जीत के बाद कही ये बातें
दो दिनों तक राजनीतिक मंथन के बाद 51 साल बाद हुए विधान सभा अध्यक्ष पद के चुनाव में एनडीए के प्रत्याशी विजय सिन्हा ने महागठबंधन की ओर से राजद प्रत्याशी अवध बिहारी चौधरी को पराजित कर अध्यक्ष पद पर अपनी जगह बनाई है.
पटना: बिहार विधानसभा अध्यक्ष बने विजय कुमार सिन्हा लखीसराय से बीजेपी के विधायक हैं. दो दिनों तक राजनीतिक मंथन के बाद 51 साल बाद हुए विधान सभा अध्यक्ष पद के चुनाव में विजय सिन्हा ने महागठबंधन की ओर से राजद प्रत्याशी अवध बिहारी चौधरी को पराजित कर अध्यक्ष पद पर अपनी जगह बनाई है.
कौन हैं विजय कुमार सिन्हा
बिहार की राजनीति में लगातार अग्रसर रहे विजय सिन्हा को चौथी बार लखीसराय विधानसभा की जनता ने अपना विधायक चुना है.विजय सिन्हा बिहार में बीजेपी के बड़े नेता माने जाते हैं. नीतीश कुमार की पिछली सरकार में विजय कुमार सिन्हा श्रम मंत्री थे. सिन्हा भूमिहार समाज से आते हैं. नीतीश कुमार की पिछली सरकार के स्पीकर भी इसी जाति से थे. बिहार में पिछली बार स्पीकर की सीट जेडीयू के खाते में थी और भूमिहार समाज से आने वाले विजय चौधरी स्पीकर पद पर आसन्न थें.
पेशे से सिविल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा डिग्रीधारी हैं विजय सिन्हा
5 जून 1967 को जन्मे विजय कुमार सिन्हा के पिता स्व. शारदा रमण सिंह पटना के बाढ़ स्थित बेढ़ना के हाई स्कूल के प्रभारी प्रधानाध्यापक थे. उनकी मां का नाम स्व. सुरमा देवी है. पैत्रिक निवास मोकामा के बादपुर में रहा है. सिन्हा की ने बेगूसराय के राजकीय पॉलिटक्निक कॉलेज से सिविल इंजीनियरिंग में डिप्लोमा की डिग्री हासिल की है. इनकी शादी सुशीला सिन्हा से वर्ष 1986 में हुई थी.
कॉलेज के दिनों से ही नेतृत्व की क्षमता रखते हैं
विजय सिन्हा के बारे में इनके जानने वाले बताते हैं कि इनकी रुचि सामाजिक, राजनैतिक और धार्मिक कार्यों में शुरू से रही है. बचपन में ही यह राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ से स्वयंसेवक के रूप में जुड़े थे. मात्र 13 वर्ष की उम्र में बाढ़ में आयोजित बीजेपी के कार्यक्रम में पारिवारिक भागीदारी में सहयोग किया था. 15 वर्ष की उम्र में बाढ़ के दुर्गापूजा समिति के सचिव के रूप में चुने गए. यहां से जब इनके भीतर संगठन में नेतृत्व क्षमता पनपने लगी तो बाढ़ के ही एएन कॉलेज में पढ़ते हुए 1983 में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद की छात्र राजनीति में यह सक्रिय हो गए. इसी का नतीजा हुआ कि पॉलिटेक्निक कॉलेज में पढ़ते हुए 1985 में राजकीय पॉलिटेक्निक मुजफ्फरपुर छात्र संघ का का अध्यक्ष बने. 1990 में सिन्हा को राजेन्द्र नगर मंडल पटना महानगर भाजपा में उपाध्यक्ष पद की जिम्मेवारी मिली. वर्ष 2000 में सिन्हा को प्रदेश संगठन प्रभारी, भारतीय जनता युवा मोर्चा बिहार-सह-चुनाव प्रभारी भाजपा सूर्यगढ़ा वि.स. जिला लखीसराय की जिम्मेवारी दी गई. 2002 में भारतीय जनता युवा मोर्चा, बिहार के प्रदेश सचिव बनाए गए.
जीत के बाद विजय सिन्हा ने कही ये बातें
अध्यक्ष बनने पर विजय सिन्हा ने कहा मैं सभी को धन्यवाद कहता हुँ.मेरे जैसा व्यक्ति इस संवैधानिक पद पर हो सकता है. मैं बेहद रोमांचित हुँ. जिन्होने ये पूरी संवैधानिक व्यवस्था बनाई उनका धन्यवाद.मैने सदन काल के दौरान जीवन में बहुत कुछ सीखा है छोटी छोटी बातों को तूल ना दें और राज्य की गम्भीर समस्याओं पर सभी सदस्य ध्यान दें. हमें एक दुसरे की बातों को सुनना है,कटु से कटु बातों को सुनना चाहिए. इस कोरोना काल में नये सकारत्मक भाव से आगे बढ़ना है. बिहार की गरिमा वापस लानी है. मैं सभी सदस्यों को साथ लेकर चलने की कोशिश करूंगा,आपकी अपेक्षा पूरी करूंगा. मैं माननीय सदस्यों से अनुरोध करूंगा की समितियों को पारदर्शी रखें.आप सभी ने विश्वास मुझमे व्यक्त किया उसके लिये धन्यवाद.