छपराः बिहार में 24 सीटों पर एमएलसी का चुनाव होना है. इस बीच बिहार के सारण जिले से बीजेपी के लिए खुशखबरी है. भारतीय जनता पार्टी के लिए बागी बने सच्चिदानंद राय एमएलसी चुनाव से अपना नाम वापस ले सकते हैं. अगर ऐसा हो जाता है तो बीजेपी को इसका सीधा-सीधा फायदा हो सकता है. बीजेपी से टिकट नहीं मिलने के बाद सच्चिदानंद राय ने निर्दलीय चुनाव लड़ने का फैसला लिया और उन्होंने नामांकन भी कराया है. 


दरअसल, बिहार बीजेपी की अनुशासन समिति के बयान ने राजनीतिक तौर पर हलचल मचा दी है. समिति के अध्यक्ष विनय सिंह ने दावा किया है कि सच्चिदानंद राय पार्टी के वरिष्ठ नेता हैं. वह पार्टी के लिए हर वक्त समर्पित रहे हैं. ऐसे में वह समय रहते अपना नामांकन वापस ले सकते हैं. होली मिलन समारोह के दौरान बीजेपी द्वारा आयोजित होली मिलन में कार्यकर्ता मीटिंग के दौरान विनय सिंह ने यह बातें कहीं.


सच्चिदानंद राय ने किया खारिज
इधर, इस पूरे मामले को लेकर बीजेपी के बागी और निर्दलीय प्रत्याशी सच्चिदानंद राय ने कहा कि ऐसी कोई बात नहीं है. मैं चुनाव लड़ रहा हूं. कोई दूसरा कौन होता है ये फैसला लेने वाला. सच्चिदानंद राय ने एबीपी से कहा कि बीजेपी के लोग बताएं कि आखिर उनका टिकट कैसे कटा? किसी की हिम्मत नहीं कि समझा दे या बैठा दे.


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21 मार्च तक नाम वापस लेने की तिथि
बता दें कि बीजेपी के बागी सच्चिदानंद राय के चुनावी मैदान में उतरने के बाद मुकाबला त्रिकोणीय माना जा रहा है. आरजेडी ने उम्मीदवार के तौर पर सुधांशु रंजन को मैदान में उतारा है. वहीं एनडीए ने बीजेपी से धर्मेंद्र सिंह को मौका दिया है. निर्दलीय उम्मीदवार के रूप में बीजेपी के बागी सच्चिदानंद राय भी नामांकन करा चुके हैं.  21 मार्च तक कैंडिडेट अपनी उम्मीदवारी वापस ले सकेंगे. चार अप्रैल को वोटिंग होगी और सात अप्रैल को नतीजे घोषित किए जाएंगे. 


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