Bihar News: फेफड़े में संक्रमण फैलने से सांस लेने में हुई दिक्कत, अस्पताल आते ही दो मरीजों की मौत
सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में दोपहर में चिकित्सक ड्यूटी से गायब थे. आमतौर पर पोस्टमार्टम के बहाने डॉक्टर गायब रहते थे, लेकिन उस वक्त किसी का पोस्टमार्टम नहीं हो रहा था.
गोपालगंज: बिहार के गोपालगंज सदर अस्पताल में मंगलवार को भी दो मरीजों की मौत हो गई. फेफड़े में संक्रमण होने की वजह से दोनों मरीजों को सांस लेने में तकलीफ थी. अस्पताल उपाधीक्षक डॉ. एसके गुप्ता के मुताबिक एक मरीज की मौत अस्पताल आने से पहले हो गई थी. जबकि दूसरे मरीज की इलाज के दौरान मौत हुई. मृतकों की पहचान बरौली थाने के कोटवा गांव निवासी महेंद्र चौधरी के 65 वर्षीय पुत्र चंद्रिका चौधरी और बैकुंठपुर थाने के गंधवा गांव निवासी अजीज मियां की पत्नी 55 वर्षीय जिन्नत बेबी के रूप में की गई है.
बता दें कि इससे पहले रविवार को तीन मरीजों की मौत ऑक्सीजन लेवल गिरने के कारण हो गई थी. वहीं, इमरजेंसी वार्ड में सभी बेड मंगलवार को मरीजों से फुल हो गए थे. अधिकतर मरीज सांस लेने में तकलीफ होने के बाद भर्ती हुए थे. देर शाम तक इलाज के बाद कई मरीज रिकवर भी हुए. दूसरी तरफ इमरजेंसी वार्ड में भर्ती मरीजों में से किसी की कोविड-19 जांच नहीं की जा रही. यदि किसी मरीज में कोरोना का संक्रमण रहा तो अन्य लोगों में फैलने का खतरा बढ़ गया है.
समय पर कराएं संक्रमण का इलाज
चिकित्सा पदाधिकारी सह फिजिशियन डॉ. सनाउल मुस्तफा के मुताबिक हाल के दिनों में ऐसे केस बीमार मरीजों का केयर नहीं किए जाने की वजह से बढ़े हैं. उन्होंने बताया कि फेफड़े में संक्रमण होने पर समय रहते इलाज किया जाए, तो मरीज की जान बचायी जा सकती है.
डेढ़ घंटे तक इमरजेंसी वार्ड में नहीं थे डॉक्टर
सदर अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में दोपहर में चिकित्सक ड्यूटी से गायब थे. आमतौर पर पोस्टमार्टम के बहाने डॉक्टर गायब रहते थे, लेकिन उस वक्त किसी का पोस्टमार्टम नहीं हो रहा था. मरीजों का इलाज जीएनएम व कंपाउंडरों के भरोसे चल रहा था. डायरिया, फीवर, सांस के तकलीफ वाले मरीजों को डॉक्टर नहीं होने की बात कहकर यहां के कर्मी ओपीडी में भेज दे रहे थे.
यह भी पढ़ें -
EOU Raid: बिहार पुलिस मेंस एसोसिएशन के अध्यक्ष के 9 ठिकानों पर छापेमारी, आय से अधिक संपत्ति का मामला