बिहार में शराबबंदी पर होगी समीक्षा? छपरा कांड पर NHRC की रिपोर्ट के बाद जीतन राम मांझी का बड़ा बयान
Bihar Liquor Ban: जीतन राम मांझी ने शुक्रवार को मीडिया के सवालों के जवाब में बयान दिया है. एनएचआरसी की रिपोर्ट में छपरा शराब कांड मामले में 77 लोगों की मौत की बात कही गई है.
पटना: छपरा जहरीली शराबकांड में एनएचआरसी (NHRC) ने रिपोर्ट जारी की है. इस रिपोर्ट में बताया गया है कि कुल 77 लोगों की मौत हुई थी लेकिन इस केस में सिर्फ 42 लोगों का ही नाम दर्ज किया गया है. रिपोर्ट आने के बाद शुक्रवार (24 मार्च) को इस मामले पर बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री और हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के संरक्षक जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) ने बड़ा बयान दिया. कहा कि वह बार-बार एक ही बात कहते रहते हैं. यह स्पष्ट है कि शराब नीति बहुत अच्छी चीज है लेकिन शराब के चलते बहुत से गरीब परिवार उजर रहे हैं.
वहीं दूसरी ओर जीतन राम मांझी ने यह भी कहा कि आज शराबबंदी का लाभ लेकर गरीब परिवार अच्छा काम भी कर रहे हैं. जो पदाधिकारी होते हैं वो अच्छा काम नहीं कर रहे हैं. गरीब को आसानी से पकड़कर जेल भेज देते हैं और अमीरों से पैसा ले लेते हैं और छोड़ देते हैं. यह जांच का विषय है. मैं सरकार से कहूंगा कि इसकी जांच अच्छे से कराई जाए. न हो तो सेंट्रल एजेंसी से बात की जाए. जिन गरीबों पर मुकदमा हुआ है उसे भी माफ कराया जाए.
बिजली की बढ़ती कीमत पर केंद्र पर हमला
वहीं बिहार में बिजली की कीमत महंगी होने के सवाल पर जीतन राम मांझी ने कहा कि जहां से बिजली आ रही थी या हमलोग ले रहे थे उसमें जितना कॉस्ट पड़ता था उससे आधा से ज्यादा बिहार सरकार सब्सिडी देती थी. कुछ भारत सरकार की भी सब्सिडी थी जिसे बंद कर दिया. ऐसी परिस्थिति में जब बिजली 24 घंटे मिलने लगी तो उसको पूरा करने के लिए तो खरीदना पड़ेगा. अभी हम बिजली उत्पादन में आत्मनिर्भर उतने नहीं हुए हैं. जब बिजली हम खुद उत्पादन करने लगेंगे तो सस्ता देंगे. अभी खरीदकर दे रहे हैं इसलिए ऐसा हुआ है.
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