Police Lathicharge In Patna: बिहार के शारीरिक शिक्षा एवं स्वास्थ्य अनुदेशक पर पटना में लाठीचार्ज हुआ है, ये लोग अपनी मांगों को लेकर के सचिवालय गेट के पास पूर्णकालिक करने की मांग को लेकर विरोध प्रदर्शन कर रहे थे. साथ ही वेतन 8 हजार से 32 हजार करने की मांग कर थे. इसी दौरान पुलिस और अभ्यर्थियों के बीच कहा सुनी हो गई. स्थिति बिगड़ती देख पुलिस ने भीड़ पर कंट्रोल करने के लिए लाठीचार्ज कर दिया. इसमें कई अभ्यर्थी घायल हो गए. 


क्या है प्रदर्शनकारियों की मांगें?


प्रदर्शन में शामिल बिहार शारीरिक शिक्षा एवं स्वास्थ्य अनुदेशक संघ के प्रदेश अध्यक्ष डॉ राजेश कुमार पांडेय ने कहा कि वेतनमान में सुधार की मांग लंबे समय से चल रही है. शिक्षक नियोजन नियमावली 2012 के तहत बिहार सरकार के जरिए एसटीईटी 2019 का आयोजन किया गया था, शारीरिक शिक्षा एवं स्वास्थ्य अनुदेशक की बहाली के लिए परीक्षा ली गई थी, लेकिन बहाली प्रक्रिया पूरी नहीं हो सकी. वेतन मान भी सही है. 


नियोजन नियमावली 2012 के तहत शिक्षकों का वेतनमान प्रारंभिक शिक्षकों के लिए 5000 रुपये, माध्यमिक शिक्षकों के लिए 6000 रुपये और शारीरिक शिक्षा अनुदेशक के लिए 4000 रुपये निर्धारित किया गया था. वर्तमान में इनका वेतन 8000 रुपये निर्धारित किया गया है, जो काफी कम है. हमारी मांग है कि इसमें सुधार हो. 


वहीं सचिवालय डीएसपी सुशील कुमार ने बतााय कि सचिवालय गेट के पास 200 के करीब  शिक्षक इकट्ठा हो गए थे. ये लोग  विधानसभा मार्च करने निकले थे जबकि इस क्षेत्र में 163 लागू है. यहां चार लोग से ज्यादा एक जगह  पर इकट्ठा नहीं हो सकते. इन्हें मना किया गया लेकिन  ये लोग यहां से नहीं हट रहे थे. तब पुलिस ने हल्का बल का प्रयोग करना पड़ा. 


पहले भी हुआ कई बार लाठीचार्ज


आपको बता दें कि पटना में रोजाना प्रदर्शनकारियों पर लाठीचार्ज की घटना हो रही है. विभिन्न संगठन के लोग जब अपनी मांगों को लेकर सड़क पर उतरते हैं तो उस दौरान स्थिति को कंट्रोल करने के लिए पुलिस को लाठीचार्ज का सहारा लेना पड़ता है. इससे पहले पासवान समाज और दलित सेना के लोगों पर फिर कांग्रेस युवा कार्यकर्ताओं पर भी पुलिस ने लाठीचार्ज किया था, जिसमें कई लोग घायल हुए थे. 


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