पटना: पटना SSP के पक्ष में बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी की पार्टी उतर गई है. HAM पार्टी प्रवक्ता डॉ. दानिश रिजवान ने कहा कि बीजेपी जानबूझ कर पटना एसएसपी को इस विवाद में घसीट रही है. उन्होंने कहा कि अगर इस्लामिक स्टेट की बात करना अपराध है तो फिर हिन्दु राष्ट्र की वकालत करना कहां से ठीक? यदि इस्लामिक राष्ट्र की कल्पना करने वालों को जेल तो फिर हिन्दु राष्ट्र की बात करने वालों को छूट क्यों?
गौरतलब है कि पटना पुलिस ने पीएफआई के बड़े नेटवर्क का खुलासा किया है. इसकी जानकारी देते हुए गुरुवार को प्रेसवार्ता के दौरान पटना एसएसपी मानवजीत सिंह ढिल्लों ने कहा कि राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की शाखा की तरह युवाओं को शारीरिक प्रशिक्षण दिया जाता था. उन्होंने कहा, "मदरसे से यह लोगों को मोबिलाइज करते थे और कट्टरता की ओर मोड़ रहे थे. इसका मोडस वैसे ही था जैसे शाखा की होती है. आरएसएस की शाखा ऑर्गेनाइज की जाती है और लाठी की ट्रेनिंग होती है, वैसे ही ये फिजिकल ट्रेनिंग के नाम पर यूथ को प्रशिक्षण दे रहे थे और अपने प्रोपोगेंडे के माध्यम से ब्रेनवाश कर रहे थे."
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'ऐसे बड़बोले और बददिमाग अधिकारी को पद से बर्खास्त करें सीएम'
इसपर बीजेपी ने कड़ी प्रतिक्रिया दी है. बीजेपी प्रवक्ता मनोज शर्मा ने बिहार के मुख्यमंत्री और राज्य के गृह मंत्री नीतीश कुमार से आग्रह है कि ऐसे बड़बोले और बददिमाग अधिकारी को उनके पद से बर्खास्त करें. इनके पद पर रहने से शहर की कानून व्यवस्था और माहौल खराब हो सकता है. मुख्यमंत्री इस पर तुरन्त संज्ञान लें. ऐसे बयान को भारतीय जनता पार्टी एक पल के लिए भी बर्दाश्त नहीं करेगी. आरएसएस एक राष्ट्र निर्माण करने वाली संस्था है. यहां भारतीय संस्कृति और सभ्यता सुदृढ करने की ट्रेंनिग दी जाती है. यहां लोगों में एकता और अहिंसा का पाठ पढ़ाया जाता है. पटना एसएसपी को एक बार आरएसएस के शाखा में जाकर ट्रेंनिग लेनी चाहिए, तब उन्हें पता चलेगा कि आरएसएस में किस तरह की ट्रेनिंग दी जाती है. एसएसपी अपने इस बदजुबानी के लिए सामूहिक रूप से माफी मांगे.
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