Bihar Six Accused Send To Jail: नीट पेपर लीक मामले में देवघर से गिरफ्तार सभी छह आरोपियों को मेडिकल जांच के बाद जेल भेज दिया गया. LNJP अस्पताल से छह आरोपी मुंह ढापे हुए अस्पताल से निकले और तुरंत उन्हें गाड़ी पर बैठाकर ईओयू की टीम जेल कर चली गई. टीम उन्हें दो गाड़ी में लेकर मेडिकल कराने पहुंची थी. इससे आर्थिक अपराध शाखा ने सभी छह शातिरों को कोर्ट में पेश किया था.
सभी नालंदा जिले के रहने वाले हैं आरोपी
ईओयू की विशेष टीम सभी छह आरोपी को लेकर कल दोपहर पटना पहुंची थी. उसके बाद इनसे पूछताछ हुई और आज कोर्ट पेश किया गया था. देवघर से सॉल्वर गैंग के सदस्य जो हुए गिरफ्तार वो सभी नालंदा जिले के रहने वाले हैं. इनमें से कुछ लोग संजीव मुखिया के संपर्क में थे,
आरोपी पंकु कुमार, पिता महेन्द्र प्रसाद और परमजीत सिंह उर्फ बिट्टू, पिता प्रकाश कुमार दोनों बेलदार बिगहा थाना-छविलापुर, नालंदा के रहने वाले हैं. चिन्टु उर्फ बालदेव कुमार पिता ओमप्रकाश प्रसाद, गुलरिया बिगहा, थाना-दरायपशुराय, नालंदा, काजु उर्फ प्रशांत कुमार, पिता स्व० रामचन्द्र प्रसाद थाना नुरसराय, नालंदा, अजीत कुमार, पिता पंकज प्रसाद थाना-एकंगरसराय नालंदा और राजीव कुमार उर्फ कारू पिता सुरेन्द्र प्रसाद एकंगरसराय नालंदा जिले के रहने वाला है.
इस तरीके से किया गया पेपर लीक
इन सभी को देवघर में एम्स के पास बने एक घर से पकड़ा गया था. अब सभी को जेल भेज दिया गया है. अब आर्थिक अपराध इकाई इन्हें न्यायालय से रिमांड पर मांग सकती है. फिलहाल इन सबसे पूछताछ हुई है, जिसमें कई राज पता चले हैं. सूत्रों के अनुसार, प्रश्नपत्र को सबसे पहले मुख्य सेटर अतुल वत्स और अंशुल सिंह के गिरोह ने सिंटू के वाट्सएप पर भेजा था. इसके बाद उसने इसे अपने जूनियर सेटर अमित आनंद, नीतीश और अन्य को भेजा. यह तीन-चार माध्यमों से छात्रों तक पहुंचा.
यह बात भी सामने आई है कि सिंटू ने प्रश्नपत्र को वाट्सएप के जरिए झारखंड के हजारीबाग समेत दो जगहों पर भेजा था. इन छह आरोपियों से अभी और बड़े खुलासे होने की उम्मीद जताई गई है. इसके लिए ईओयू इनसे आगे भी पूछताछ कर सकती है. वैसे तो केंद्र सरकार ने इस मामले को अब सीबीआई के हवाले कर दिया है, लेकिन राज्य की पुलिस अपने स्तर से जांच फिलहाल जारी रखेगी. हालांकि सीबीआई भी पूछताछ के लिए पटना आने वाली है.
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