हाजीपुर: बोचहां उपचुनाव में बीजेपी (BJP) की हार पर विवाद जारी है. विपक्ष के साथ ही सत्ता पक्ष के नेता भी बीजेपी को ही उपचुनाव में हार का जिम्मेवार ठहरा रहे हैं. इसी क्रम में बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी (Jitan Ram Manjhi) ने इस संबंध में प्रतिक्रिया दी है. उन्होंने कहा कि अगर गठबंधन ने उनकी और मुकेश सहनी (Mukesh Sahni) की बात मान ली होती, तो ऐसी नौबत नहीं आती. बिहार एनडीए में कोआर्डिनेशन कमेटी नहीं है. इसी कारण बीजेपी को हार का सामना करना पड़ा है.
अपनी गलती के कारण हारी बीजेपी
मांझी ने कहा," बीजेपी ने अपनी मर्जी से निर्णय लिया और अपनी गलती के कारण उसे हार का सामना करना पड़ा. जिस नेता के निधन से सीट खाली होती है, उपचुनाव में उसी नेता के घर के सदस्य को उम्मीदवार बनाया जाता है, यह नियम भी कहता है. लेकिन बीजेपी ने ऐसा नहीं किया. नतीजा सबके सामने है."
इधर, लगातार भगवान राम को लेकर विवादित टिप्पणी कर रहे मांझी ने फिर एक उनके संबंध में विवादित टिप्पणी की. उन्होंने कहा कि राम कोई भगवान नहीं हैं. वे एक काल्पनिक किरदार हैं. मैं उनको भगवान नहीं मानता और आगे भी हरगिज नहीं मानूंगा, चाहे लोग कितना भी जोर लगा लें.
'मैं राम को भगवान नहीं मानूंगा'
मांझी ने कहा, " कुछ लोग मेरे बयान पर प्रतिक्रिया देने के साथ ही इस फिराक में हैं कि वे मुझे जबरदस्ती राम को भगवान मनवा दें. लेकिन ऐसा कभी नहीं होगा. कोर्ट ने भी राम को काल्पनिक बताया है, इसलिए वे भगवान नहीं है. लोग पत्थर-पहाड़ की पूजा करें, राम की पूजा करें, लेकिन मैं राम को भगवान नहीं मानूंगा."
वहीं, धार्मिक जुलूसों पर प्रतिबंध लगाने की अपनी मांग के संबंध में उन्होंने कहा कि ऐसे दंगा भड़काने वाली यात्रा पर बिल्कुल बैन लगाना चाहिए. लोग वैसे धर्म को मानें, जिससे लोगों का फायदा हो. बता दें कि हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के पूर्व राष्ट्रीय अध्यक्ष जीतन राम मांझी मुजफ्फरपुर से पटना आवास के लिए जा रहे थे. इसी दौरान हाजीपुर में उन्होंने अपने समर्थकों से मुलाकात की. साथ ही पत्रकारों से भी बातचीत की.
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