मुजफ्फरपुरः बिहार के मुजफ्फरपुर में मोतियाबिंद के ऑपरेशन में हुई लापरवाही से बीते दो से तीन दिनों में 15 लोगों की आंखें निकाली जा चुकी हैं. वहीं, कई लोगों का प्राइवेट अस्पताल में इलाज कराने की संभावना जताई जा रही है. बुधवार को सिविल सर्जन विनय शर्मा ने कहा कि वे खुद आंख अस्पताल गए थे. स्पष्ट रूप से लिखित पत्र दिया गया है कि 22 नवंबर के बाद जितने भी ऑपरेशन हुए हैं सबकी लिस्ट दी जाए. साथ ही उनका मोबाइल नंबर भी दें ताकि ट्रैक कर पता किया जाए कि वो कहीं और तो इलाज नहीं करा रहे हैं.
हॉस्पिटल को कराया जा चुका है बंदः सिविल सर्जन
सिविल सर्जन विनय शर्मा ने कहा कि यह कहीं ना कहीं से निश्चित रूप से लापरवाही हुई है. इसके कारण ही इस तरह की घटना घटी है. हम लोगों को देखना होगा कि किस स्तर से लापरवाही हुई है. इसके लिए अभी रिपोर्ट का इंतजार किया जा रहा है. हॉस्पिटल को फिलहाल बंद करा दिया गया है. अभी ओपीडी भी नहीं चल रहा है.
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बढ़ सकती है आंख खराब होने वाले मरीजों की संख्या
बता दें कि 22 नवंबर को ऑपरेशन किया गया था. पहले सूचना मिली कि 25 लोगों का ही ऑपरेशन हुआ है लेकिन अब जांच के बाद पता चला है कि कुल 65 मरीजों के मोतियाबिंद का ऑपरेशन किया गया था. इसमें से 27 लोगों की आंखें खराब हो चुकी हैं. संभावना जताई जा रही है कि आंख खराब होने वाले मरीजों की संख्या बढ़ सकती है. बुधवार को मुजफ्फरपुर आई हॉस्पिटल के ऑपरेशन थिएटर को सील करने के बाद अस्पताल को भी बंद कर दिया गया है.
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