औरंगाबाद: लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) के राष्ट्रीय अध्यक्ष चिराग पासवान (Chirag Paswan) शुक्रवार को औरंगाबाद पहुंचे. 2020 में रफीगंज विधानसभा चुनाव के निर्दलीय प्रत्याशी रहे और चुनाव में दूसरे नंबर पर रहे प्रमोद सिंह को अपनी पार्टी में उन्होंने शामिल किया और पार्टी की नीतियों को जन-जन तक पहुंचाने का आह्वान किया. इस दौरान चिराग पासवान ने सत्ता पर काबिज हुई महागठबंधन की सरकार पर जमकर हमला बोला.


चिराग पासवान ने कहा कि नई सरकार में बिहार तब शर्मसार हुआ जब वैसे लोग कानून मंत्री बनते हैं जिन पर वारंट निकला होता है. बिहार तब शर्मसार हुआ जब सरकारी बैठकों में मंत्रियों के परिवार बैठते हैं. बिहार तब शर्मसार हुआ जब तिरंगे पर नीतीश कुमार के दंभी प्रशासनिक पदाधिकारी लाठी चलाते हैं, लेकिन उस अधिकारी पर देशद्रोह का मुकदमा न चलाकर सरकार उसे बचाना चाहती है.


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सांसद ने कहा कि यह वही तिरंगा था जिसे यूक्रेन की लड़ाई के दौरान वहां के छात्र दिखाकर सम्मान पाते थे और उन्हें सुरक्षित यूक्रेन से निकाला जाता था. यहां नीतीश सरकार के राज्य में आन बान और शान की प्रतीक उसी तिरंगे को लेकर नौकरी मांगने गए छात्रों पर डंडे बरसाए गए जबकि उनके द्वारा ही 20 लाख नौकरी दिए जाने की घोषणा की गई. उन्होंने कहा कि उन्हें यह नहीं मालूम कि नीतीश कुमार तिरंगे से इतना नफरत क्यों करते हैं.


'नीतीश कुमार को छात्र और युवाओं से नफरत'


नौकरी और रोजगार को लेकर चिराग ने कहा कि नीतीश कुमार को नफरत है छात्र और युवा से जो पढ़ना चाहता है. नौकरी चाहता है, लेकिन वह यह नहीं चाहते कि बिहार का युवा पढ़े और रोजगार प्राप्त करे. क्योंकि बिहार का युवा अगर पढ़ जाएगा तो वह चिराग की तरह अपने राज्य एवं अपने हक के लिए उनसे सवाल करेगा जिसका जवाब मुख्यमंत्री के पास नहीं होगा. नीतीश कुमार के प्रधानमंत्री उम्मीदवार की चर्चा पर कहा कि उन्हें प्रधानमंत्री बनने के सपने देखने के लिए शुभकामनाएं. ऐसे ही वह रूस के भी प्रधानमंत्री बनने के सपने देख सकते हैं.


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