पटना: कोरोना संक्रमण (Coronavirus) की तीसरी लहर को देखते हुए बच्चों को भी कोरोना वैक्सीन (Crorona vaccine) लगाने की घोषणा कर दी गई है. पीएम मोदी (PM Narendra Modi) ने तीन जनवरी से 15-18 साल के सभी बच्चों को कोरोना वैक्सीन देने का एलान किया है. ऐसे में देश के सभी राज्यों में इस बाबत तैयारी शुरू कर दी गई है. इसी क्रम में गुरुवार को बिहार स्वास्थ्य विभाग के प्रधान सचिव प्रत्यय अमृत ने अन्य अधिकारियों के साथ पीसी कर इस संबंध में जानकारी दी है. उन्होंने बताया कि राज्य में लगभाग 83.46 लाख बच्चों को वैक्सीन लगाई जानी है. साल 2007 के पहले जन्म लेने वाले सभी बच्चों को वैक्सीन दी जाएगी.


बच्चों को केवल कोवैक्सीन ही लगेगी


उन्होंने बताया कि बिहार में सभी बच्चों को केवल कोवैक्सीन ही लगेगी. इसके अलावा उन्हें अन्य कोई वैक्सीन नहीं दी जाएगी. राज्य के पास अभी 14 लाख कोवैक्सीन के डोज हैं. वहीं, पहले डोज के 28 दिन बाद दूसरा डोज दिया जाएगा. वैक्सीनेशन के लिए पंजीकरण 1 जनवरी, 2022 से कोविन ऐप कराया जा सकता है. हालांकि, बिहार में ऑनस्पाट रजिस्ट्रेशन का ज्यादा चलन है, ऐसे में तीन जनवरी से सेंटरों पर भी रजिस्ट्रेशन होगा.  


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वहीं, उन्होंने बताया कि 10 जनवरी, 2022 से वैसे स्वास्थ्यकर्मी और फ्रंटलाइन वर्कर जिन्होंने नौ महीने पहले कोरोना वैक्सीन की सेकेंड डोज ले ली होगी, उन्हें बूस्टर डोज दिया जाएगा. इसके साथ ही 60 साल से अधिक उम्र वाले लोगों को भी बूस्टर डोज मिलेगा. लेकिन, उन्हें डॉक्टर की सलाह लेनी पड़गी. हालांकि, इसके लिए उन्हें किसी प्रकार के कागज या सर्टिफिकेट की जरूरत नहीं होगी. आराम से वैक्सीन मिलेगी. जांच जैसा कुछ नहीं होगा.


इतने लोगों को लगेगी बूस्टर डोज


विभाग के प्रधान सचिव ने कहा, " चूंकि हमने मीडियाकर्मियों को भी फ्रंटलाइन वर्कर माना है. ऐसे में उन्हें भी बूस्टर डोज मिलेगा. उन्होंने बताया कि तीसरी डोज लेने वालों में 60 व 60 से अधिक उम्र वाले 18.92 लाख लोग, 5.24 लाख हेल्थ केयर वर्कर, 5.6 लाख फ्रंटलाइन वर्कर शामिल हैं. 


उन्होंने कहा कि अब तीसरी लहर की संभावना नहीं, तीसरी लहर आ चुकी है. कोरोना के मामले लगातर बढ़ रहे हैं. ऐसे में वैक्सीन ही हथियार है. हम लोग लगातार टेस्ट कर रहे हैं. सैंपल जीनॉम सिक्वेंसिंग के लिए दिल्ली भेजे जा रहे हैं. बिहार के लोगों में फिलहाल डेल्टा और डेल्टा प्लस वैरिएंट पाया जा रहा है. जीनॉम सिक्वेंसिंग के लिए आईजीआईएमएस में लैब स्थापीत किया गया है. संभवतः वहां नए साल से काम शुरु हो जाएगा. अभी फिलहाल हमें मास्क पहनना है और कोविड अनुरूप व्यवहार करना है.


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