पटना: सेंट्रल विजिलेंस कमीशन और दिल्ली स्पेशल पुलिस इस्टैब्लिशमेंट संशोधन विधेयक पर चर्चा के दौरान गुरुवार को जनता दल यूनाइटेड (JDU) के राष्ट्रीय अध्यक्ष और मुंगेर से सांसद राजीव रंजन सिंह उर्फ ललन सिंह (Lalan Singh) ने राष्ट्रीय जनता दल के राष्ट्रीय अध्यक्ष व बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री लालू यादव (Lalu Yadav) पर तंज कसा. ललन सिंह ने कहा कि इस संशोधन विधेयक पर चर्चा की कोई गुंजाईश नहीं थी. उच्चतम न्यायालय ने विनीत नारायण मामले में प्रवर्तन निदेशालय और सीबीआई निदेशक का कार्यकाल दो साल तय कर दिया था और विस्तृत गाइडलाइन जारी कर दिया था. सरकार ने उसे बढ़ाकर पांच साल कर दिया. इस पर चर्चा क्या हो सकती है.
लालू यादव का नाम लिए बगैर कही ये बात
ललन सिंह ने कहा कि जब स्वतंत्र जांच होती है और जो पकड़ाते हैं, वो कहते हैं कि प्रभावित है. हमारे बिहार में भी हुआ है. चर्चित चारा घोटाला में 99.9 प्रतिशत दोषसिद्धि की दर है. इसके एक आरोपी थे. जब वो जेल चले गए तो गेस्ट हाउस को ही जेल बना लिए. उच्चतम न्यायालय ने 12 घंटे में जेल जाने को कहा तो तत्कालीन गृह सचिव राजकुमार बाबू ने उन्हें आठ घंटा में ही जेल में शिफ्ट कर दिया, इसलिए इस संशोधन बिल पर बहस की कोई गुंजाइश नहीं है.
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उन्होंने कहा कि अगर कोई किसी को फंसाता है, तो न्यायालय है. वहां कोई भी जा सकता है. बिना साक्ष्य के कोई किसी को गिरफ्तार नहीं कर सकता है. ईडी तो बिना साक्ष्य के किसी को गिरफ्तार करती ही नहीं है. वह विस्तृत जांच करती है, इसलिए मुझे लगता है कि लोग अपनी पीड़ा को इस संशोधन में उजागर कर रहे हैं.
दोनों निदेशकों के कार्यकाल पर बोलते हुए ललन सिंह ने कहा कि सरकार यह नहीं कह रही है कि कार्यकाल सीधे पांच वर्ष तक चलेगा. सरकार कह रही है कि एक-एक साल में आपके काम की समीक्षा होगी और अगर आप सही ढंग से काम कर रहे हैं, तो हर एक साल के बाद एक साल की बढ़ोतरी मिलेगी, इसलिए मुझे लगता है कि इस विधेयक में बहस की कोई खास गुंजाइश नहीं है. मैं इस दोनों विधेयक का भरपूर समर्थन करता हूं.
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