पटना: बिहार के सियासी गलियारों में बीते कई दिनों से इसकी खूब चर्चा हो रही है कि नीतीश कुमार (Nitish Kumar) अपना पार्टी का विलय आरजेडी के साथ करेंगे. यानी दोनों पार्टियां जेडीयू और आरजेडी एक हो जाएंगी. लगातार कई नेताओं के बयान भी सामने आए. सुशील कुमार मोदी, उपेंद्र कुशवाहा समेत कई नेताओं ने इस पर अलग अलग अपने बयान दिए. इन तमाम अटकलों के बीच खुद सीएम नीतीश कुमार का जवाब भी आ गया है. नीतीश ने गुरुवार को जेडीयू विधानमंडल दल की बैठक में कहा कि ऐसा न कोई प्रस्ताव है और न चर्चा.


नीतीश कुमार ने कहा कि जेडीयू और आरजेडी का विलय नहीं होगा. जेडीयू खुद बड़ी पार्टी है. उन्होंने कहा कि आश्चर्य है कि ऐसी बात कहां से आई. इस दौरान उन्होंने पार्टी विधायकों, विधान पार्षदों से आह्वान किया कि वे संगठन को मजबूत करने में अपनी ताकत झोंकें. नीतीश कुमार ने दावा किया कि अनुसूचित जाति और अति पिछड़ों के लिए उनसे ज्यादा काम कौन किया. कार्यकर्ताओं, नेताओं से कहा कि एक एक काम को इस तबके तक पहुंचाएं. सोशल मीडिया का सहारा लें.


...तो बीजेपी से मुक्त हो जाएगा देश


मुख्यमंत्री ने कहा कि एआईएमआईएम बीजेपी के लिए काम करती है. लोगों को समझना चाहिए कि मुस्लिम वोटों का बिखराव ही उसका ध्येय है. उन्होंने कहा कि विपक्ष को एकजुट करने का प्रयास कर रहे हैं. अगर विपक्ष एकजुट हुआ तो देश भारतीय जनता पार्टी से मुक्त हो जाएगा.


उपेंद्र कुशवाहा ने पार्टी के विलय पर कही थी ये बात


बीते बुधवार को एबीपी न्यूज़ से ही बातचीत में उपेंद्र कुशवाहा ने कहा था कि जेडीयू और आरजेडी के विलय की कोई चर्चा नहीं है. अगर इस सुनी सुनाई बात पर ही सवाल है तो मैं यही कहूंगा कि यह जेडीयू के लिए पूरे तौर पर यह आत्मघाती होगा.


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