लालू यादव की जमानत याचिका पर सुनवाई 27 नवंबर तक टली, अभी जेल से बाहर नहीं आ पाएंगे
झारखंड हाईकोर्ट ने लालू यादव की उम्मीदों को बड़ा झटका देते हुए उनकी जमानत याचिका की सुनवाई 27 नवंबर तक के लिए टाल दी है. लालू प्रसाद यादव 42 माह से जेल में रह रहे हैं.
रांचीः झारखंड हाईकोर्ट ने लालू यादव की उम्मीदों को बड़ा झटका देते हुए उनकी जमानत याचिका पर सुनवाई को 27 नवंबर तक के लिए टाल दिया है. झारखंड हाईकोर्ट में लालू प्रसाद यादव के खिलाफ दुमका कोषागार से गबन के मामले में जमानत याचिका पर सुनवाई करते हुए इसे 27 नवंबर तक के लिए टाल दिया. बता दें कि दुमका ट्रेजरी मामले में लालू आधी सजा काट चुके हैं. लालू प्रसाद दुमका ट्रेजरी मामले में 42 माह से जेल में रह रहे हैं.
दरअसल आज उम्मीद की जा रही थी कि आधी सजा काटने के बाद उन्हें इस मामले में जमानत मिल सकती है. लालू के वकील देवर्षि मंडल ने बताया कि इस मामले में अदालत ने शुक्रवार को सुनवाई निर्धारित की थी. लालू का मामला रांची हाइकोर्ट में जस्टिस अपरेश कुमार सिंह की पीठ के सामने सूचीबद्ध किया गया. दुमका कोषागार से अवैध निकासी मामले में आधी सजा काटने के आधार पर जमानत देने की गुहार लगाई गयी थी. बता दें कि CBI इस सुनवाई का विरोध कर रही थी. सुनवाई के दौरान CBI ने हाई कोर्ट से वक्त मांगा था. CBI ने इस मामले में जमानत याचिका पर काउंटर एफिडेविट फाइल करने की बात करते हुए कोर्ट से समय मांगा. जिसके कारण हाई कोर्ट ने लालू यादव की जमानत याचिका पर सुनवाई को 27 नवंबर तक के लिए टाल दिया. फिलहाल रांची के रिम्स में लालू यादव का इलाज चल रहा है.16 तरह की बीमारियों का भी किया है दावा
बता दें कि दुमका ट्रेजरी मामले में लालू प्रसाद 42 माह जेल में रह चुके हैं. ऐसे में आधी सजा काटने के आधार पर उन्हें जमानत मिल जाने की संभावना थी. जिसे लेकर झारखंड हाईकोर्ट में जमानत के लिए याचिका लगाई गई थी. इसके साथ ही लालू की ओर से उन्हें किडनी, हृदय रोग और शुगर सहित 16 तरह की बीमारियां होने का भी दावा किया गया था.
दुमका कोषगार से गबन के मामले में जमानत नहीं मिलने के बाद अब आरजेडी सुप्रीमो लालू यादव को जेल में ही रहना होगा. चारा घोटाले के चार मामलों में लालू यादव को सजा मिली है, जिनमें से चाईबासा के दो मामले और देवघर के मामले में उन्हें पहले ही जमानत मिल चुकी है.
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