पटनाआरजेडी सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) के खास जगदानंद सिंह (Jagdanand Singh) बीते करीब डेढ़ महीने से पार्टी कार्यालय नहीं आ रहे हैं. वे इन दिनों पार्टी से दूर अपने गांव में हैं. जगदानंद सिंह ने दो अक्टूबर को अपने बेटे सुधाकर सिंह (Sudhakar Singh) के कृषि मंत्री पद से इस्तीफे की घोषणा की थी और इसे बलिदान बताया था. कहा था कि वे किसानों के हक में अपनी आवाज उठा रहे थे, लेकिन अंत में उन्होंने इस्तीफा देने का फैसला लिया ताकि लड़ाई आगे नहीं बढ़े. सवाल कि इतने दिनों से गायब जगदानंद सिंह आखिर क्या कर रहे हैं?


जगदानंद सिंह भले कार्यालय नहीं आ रहे हों लेकिन इन दिनों गांव में वो लोगों से मिलजुल रहे हैं. गांव में ही घूम रहे हैं. जगदानंद सिंह की कुछ तस्वीरें सामने आई हैं जिसमें वो लोगों के साथ घूमते फिरते नजर आ रहे हैं. यह तस्वीर बीते रविवार की बताई जा रही है जो महुअर स्टेडियम की है. तस्वीर में दिखने वाले लोग जगदानंद सिंह के कार्यकर्ता हैं जो उनसे मिल रहे हैं. 



जगदानंद सिंह की नाराजगी की बात


जगदानंद सिंह पार्टी कार्यालय नहीं आ रहे हैं और ना ही इस पर आरजेडी का कोई वरिष्ठ नेता कुछ बता पा रहा है. दो अक्टूबर को गांधी जयंती के बाद से जगदानंद सिंह पटना के वीरचंद पटेल स्थित आरजेडी कार्यालय में नहीं आए हैं. चर्चाएं तो कई तरह की हो रही हैं लेकिन कोई कुछ बोलने से बच रहा है. दबी जुबान से आरजेडी नेता कह रहे हैं कि जगदानंद सिंह काफी नाराज हैं. हालांकि जगदानंद सिंह की ओर से भी कुछ भी साफ-साफ नहीं कहा जा रहा है.



तेज प्रताप के बयान के बाद से ही दिखी थी नाराजगी


बता दें कि जगदानंद सिंह की नाराजगी काफी पहले ही दिख गई थी. ये बात तब भी सामने आई थी जब कुछ महीने पहले लालू यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव ने जगदानंद सिंह को हिटलर कह दिया था. तेज प्रताप के इस बयान के बाद से ही नाराजगी झलकने लगी थी. उसी समय जगदानंद सिंह ने छात्र आरजेडी के तत्कालीन प्रदेश अध्यक्ष आकाश कुमार को हटाकर गगन कुमार को इस पद पर बैठा दिया था.



हो रही राजनीतिक बयानबाजी


इधर, जगदानंद सिंह को लेकर राजनीतिक बयानबाजी भी हो रही है. बीजेपी नेता सुशील कुमार मोदी ने कुछ दिनों पहले कहा कि जगदानंद सिंह और उनके पुत्र पूर्व कृषि मंत्री सुधाकर सिंह ने धान की सरकारी खरीद में गड़बड़ी को जो मामला उठाया था, उसका निदान करने के बजाय सुधाकर सिंह को मंत्री पद से हटाया गया और अब उनके पिता जगदानंद को किनारे लगाने की कोशिश हो रही है.



सुशील मोदी ने यहां तक कहा कि जगदानंद से हमारे मतभेद हो सकते हैं, लेकिन ईमानदारी और अपनी पार्टी के लिए उनकी निष्ठा सराहनीय है. नीतीश कुमार आरजेडी के प्रदेश अध्यक्ष जगदानंद सिंह को अपमानित कर पार्टी से बाहर कराने में लग गए हैं. यही हाल रघुवंश प्रसाद सिंह का किया गया था.


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