मोतिहारी: विकासशील इंसान पार्टी (VIP) के प्रमुख सह बिहार के पूर्व मंत्री मुकेश सहनी (Mukesh Sahni) गुरुवार को अपनी निषाद आरक्षण संकल्प यात्रा (Sankalp Yatra) के क्रम में पूर्वी चंपारण पहुंचे. इस दौरान उन्होंने कहा कि निषादों ने भी नौ साल में अपनी अलग पहचान बना ली है. आज हम जिनके साथ रहेंगे वो यूपी, बिहार और झारखंड में 60 लोकसभा सीट जीतेंगे, जिनके साथ नहीं रहेंगे वो 60 लोकसभा सीट हारेंगे, उनके लिए दिल्ली जीतना दूर हो जाएगा.


'आरक्षण नहीं तो गठबंधन नहीं'


मुकेश सहनी ने कहा कि साल 2020 में हमारी समर्थन से नीतीश कुमार की सरकार बनी थी. हमने चुनाव लड़ा फिर चार विधानसभा में चार विधायक जीते. किसी और के दम पर नहीं अपने दम पर मंत्री बना. 2020 के चुनाव में जो सरकार बनी वो निषाद समाज के बदौलत बनी. हमने नीतीश कुमार को समर्थन दिया.निषाद समाज के समर्थन के बगैर नीतीश मुख्यमंत्री नहीं बनते. वहीं, निषाद आरक्षण पर उन्होंने कहा कि आरक्षण नहीं तो गठबंधन नहीं. गठबंधन नहीं तो वोट नहीं और वोट नहीं तो केन्द्र सरकार नहीं. संघर्ष करेंगे, दूसरे राज्यों में निषाद को आरक्षण मिल रहा है, लेकिन बिहार में क्यों नहीं मिल रहा? पिछले नौ सालों से बहुत लड़ाई लड़ी है.


निषाद समाज अपने हक के लिए लड़ाई लड़ रही है- मुकेश सहनी


बता दें कि वीआईपी प्रमुख मुकेश सहनी संकल्प यात्रा को लेकर 101 दिनों के लिए निकल पड़े हैं. बिहार कई जिला का भ्रमण करने के बाद 4 करोड़ की महंगी रथ से गुरुवार को मोतिहारी पहुंचे. वहीं, इस दौरान कार्यक्रम को अगाज करते हुए उन्होंने कहा कि निषाद समाज अपने हक के लिए लड़ाई लड़ रही है. हमें संघर्ष करना है और आने वाली पीढ़ी के लिए लड़ाई लड़ना है भले ही एक रोटी कम खाएंगे, लेकिन बच्चों को खूब पढ़ाएंगे. इसको लेकर गंगा जल हाथ मे लेकर संकल्प लें. हमारी करीब 15 प्रतिशत आबादी होने के बाद भी कोई सुनने के लिए तैयार नहीं है, जो हमारा नहीं सुनेगा, उसकी हम भी नहीं सुनेंगे.


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