नालंदा: अपने बेबाक अंदाज के लिए पूरे बिहार में चर्चित हो चुके सोनू से मिलने वालों का तांता लगा है. इसी कड़ी में बुधवार को जाप सुप्रीमो पप्पू यादव सोनू से मिलने हरनौत के नीमाकोल गांव पहुंचे. उन्होंने सोनू को 50 हजार रुपये की आर्थिक मदद की. साथ ही ताउम्र मदद का भरोसा भी दिया. इस दौरान जाप सुप्रीमो बीजेपी नेता सुशील मोदी पर जमकर बरसे. साथ ही उन्होंने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से राज्य में फ्री, कॉमन और कंपलसरी एजुकेशन लागू करने और शिक्षा के निजीकरण पर रोक लगाने की मांग की.


पप्पू यादव ने कहा कि नीतीश कुमार से सोनू की मुलाकात पर हाय तौबा मचा है, लेकिन बगल के पासवान टोला या बिहार के दूसरे बच्चों की बात कोई क्यों नहीं कर रहा है. पप्पू यादव ने कहा कि मुख्यमंत्री के जाने के बाद आज इतने दिन में इस गांव के स्कूल का कायाकल्प हो जाना चाहिए था, लेकिन आज भी वह वैसा ही है. ऐसे में कैसे बिहार में शिक्षा की बात हो सकती है? यह नालंदा ज्ञान की धरती है. नीतीश कुमार चार बार मुख्यमंत्री रहे. फिर भी नालंदा विश्वविद्यालय अभी तक शुरू क्यों नहीं हो सका? 1987 में नवोदय विद्यालय बना, लेकिन उसके बाद आज तक दूसरा स्कूल क्यों नहीं बना. कस्तूरबा व अन्य स्कूलों के लिए जमीन देने से किसने मना किया है?


अपने शासन काल में एक स्कूल तक नहीं बनवा सके सुमो


जाप नेता ने कहा कि सुशील मोदी को शर्म आनी चाहिए. बीते 40 साल के शासन में एक लंबा समय उन्होंने भी गुजारा है, लेकिन एक स्कूल तक नहीं बनवा सके. जो आदमी बाढ़ में अपने बॉडीगार्ड को मरने के लिए छोड़कर भाग सकता है, वो क्या किसी की मदद करेगा. उन्होंने कहा कि हम सोनू की मदद आजीवन करेंगे, लेकिन इससे ज्यादा महत्वपूर्ण यह है कि सुशील मोदी एक सोनू को दो हजार रुपये देने आ गए, ऐसे कई सोनू बिहार में है, उनका क्या होगा? सोनू तो किसी को पढ़ाकर भी चार हजार रुपये सुशील मोदी को दे देगा. सुशील मोदी की यही औकात है कि वह सोनू को दो हजार देंगे.


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सोनू के स्कूल की भी मदद करेंगे पप्पू यादव


इस दौरान उन्होंने केंद्र की बीजेपी सरकार को भी आड़े हाथ लिया और कहा कि जिस देश में मंगल और चांद पर जाने के बजाए जमीन के नीचे शिव और परशुराम ढूंढे जा रहे हैं, ताजमहल के नीचे हिंदू-मुसलमान हो रहा है, वहां की शिक्षा व्यवस्था कैसे दुरुस्त हो सकती है? उन्होंने कहा कि हमने अपने युवा अध्यक्ष राजू दानवीर से कहा है कि पार्टी इस स्कूल को सारी जरूरत की चीजें उपलब्ध करवाएं.


सोनू की जीवटता ने बिहार की शिक्षा व्यवस्था की खोल दी पोल


वहीं, राजू दानवीर ने कहा कि सोनू की जीवटता ने आज बिहार की शिक्षा व्यवस्था की पोल खोल कर रख दी है. कुछ लोग दो हजार रुपये का खैरात लेकर आए थे, लेकिन पप्पू यादव के निर्देश पर हमने उन्हें गोद लिया है और आजीवन उनकी पढ़ाई का खर्च उठाएंगे. सोनू की पढाई चंद पैसों की राजनीति से नहीं, सेवा भाव से की गई मदद है. दानवीर ने कहा कि बिहार में अगर शिक्षा व्यवस्था को दुरुस्त करना है तो शिक्षा से माफिया और भ्रष्टाचार को दूर करना होगा.


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