पटना: बिहार की राजधानी पटना में गुरुवार को पुलिस ने प्रदर्शन कर रहे छात्रों को बल प्रयोग कर खदेड़ दिया. वहीं, पुलिस ने मौके से तीन छात्रों को हिरासत में ले लिया है. दरअसल, राष्ट्रीय छात्र एकता संघ द्वारा 11 सूत्री मांग को लेकर गुरुवार को महाआंदोलन की शुरुआत की गयी थी. लेकिन पटना साइंस कॉलेज से शुरू हुए इस मार्च को प्रशासन ने गांधी मैदान स्थित जेपी गोलंबर पर बैरिकेडिंग कर रोक दिया.


सरकार के सामने रखना चाहते थे मांग


हालांकि, प्रशासन की रोक के बावजूद छात्र अपनी मांगों को लेकर डंटे रहे. छात्रों को पीछे नहीं हटते देख प्रशासन ने सख्ती दिखाई और बल प्रयोग करते हए सबको वहां से खदेड़ दिया. वहीं, विरोध प्रदर्शन में शामिल तीन छात्रों को पुलिस ने हिरासत में लिया है. गिरफ्तारी के वक्त छात्र नेता दिलीप ने कहा कि हम लोकत्रांतिक तरीके से सरकार के सामने अपनी बात रखना चाहते हैं.


छात्र नेता ने पूछा ये सवाल


उन्होंने कहा कि पुलिस हमें अरेस्ट कर रही है. हम इसके लिए तैयार हैं. लेकिन क्या अब इस देश में लोकतंत्र नहीं बची है? क्या हमें प्रदर्शन करने की अनुमति नहीं है? उन्होंने प्रशासन से कहा कि हमें अरेस्ट कर लीजिए. लेकिन हमारी मांगों को पूरा कर दीजिए. छात्रों के साथ न्याय होना चाहिए.


छात्र क्यों कर रहे हैं विरोध प्रदर्शन?


बता दें कि आंदोलनकारी छात्रों की मांग थी कि बिहार दारोगा बहाली के पीटी और मुख्य एग्जाम में जो धांधली हुई है, उसकी सीबीआई जांच करवाई जाए. वहीं, सभी प्रतियोगी परीक्षाओं में पारदर्शिता लाने के लिए ओएमआर शीट की कार्बन कॉपी अभ्यर्थियों को उपलब्ध करवाई जाए. छात्रों का विरोध प्रदर्शन इस बात के लिए भी था कि यूनिवर्सिटीज में ग्रेजुएशन की पढ़ाई पांच साल में पूरी होती है. जबकि समय अनुसार ये तीन वर्षों में पूरा हो जाना चाहिए.


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