Prashant Kishor: मधेपुरा पहुंचे जन सुराज अभियान के सूत्रधार प्रशांत किशोर ने पदयात्रा के बाद आज (18 जुलाई) प्रेस वार्ता की. जहां उन्होंने कहा कि बिहार में आगामी विधानसभा चुनाव में जन सुराज सभी 243 सीटों पर चुनाव लड़ेगी. आगामी 2 अक्टूबर को जन सुराज अभियान को राजनीतिक दल के रूप में परिवर्तित कर दिया जाएगा. उन्होंने कहा कि मैंने घोषणा की है कि मैं इस दल का नेता नहीं रहूंगा. उन्होंने कहा कि हम पहले नेताओं को सलाह देते थे कि किस तरह से संगठित हो, किस तरह से चुनाव अभियान चलाया जाए. वही काम 2 अक्टूबर को बनने वाली पार्टी जन सुराज के लिए करेंगे.


बता दें कि बिहार की राजनीति में प्रशांत किशोर की पार्टी की एंट्री से एनडीए और 'इंडिया' गठबंधन की मुसीबत बढ़ने वाली है. सीएम नीतीश और लालू यादव के लिए प्रशांत किशोर परेशानी खड़ा करने वाले हैं. प्रशांत किशोर को लेकर आरजेडी ने पहले ही लेटर जारी किया था.


सीएम नीतीश पर हमला


प्रशांत किशोर ने कहा कि बिहार में कानून व्यवस्था पूरी तरह से चौपट हो चुकी है. लॉ एंड ऑर्डर की जो एजेंसियां हैं उसका आधा समय शराबबंदी लागू करने, उसको लाने छिपाने में इस्तेमाल हो रहा है. उन्होंने कहा कि लोग कहते हैं कि लालू यादव के राज में अपराधियों का जंगलराज था. अब नीतीश कुमार के राज में अधिकारियों का जंगलराज है.


रोजगार के मुद्दे पर क्या बोले प्रशांत किशोर?


जन सुराज अभियान के सूत्रधार ने कहा कि बिहार में चपरासी से लेकर मुख्य सचिव तक सब की संख्या अगर जोड़कर देखा जाए तो 1.97% लोग ही सरकारी नौकरी करते हैं. जो लोग यह दावा कर रहे हैं कि सरकारी नौकरी से आपका जीवन बदल जाएगा वह बिल्कुल आपको भरमा रहे हैं. आपको गलत सपना दिखा रहे हैं. पिछले 75 सालों में मात्र 1.97% लोगों को सरकारी नौकरी मिली है. यह तो सिर्फ समाज को लॉलीपॉप दिखाकर वोट लेने की राजनीति है.


आगे उन्होंने कहा कि पूरी दुनिया में ऐसा कहीं कोई प्रमाण नहीं है कि 13 करोड़ आबादी वाले राज्य में सरकारी नौकरी के जरिए बेरोजगारी दूर की जा सकती है. दुनिया में इस बात का जरूर प्रमाण है कि अगर लोगों को अच्छी शिक्षा, स्किल और काम करने की सुविधा दे दी जाए तो उससे उसकी रोजी रोजगार मिल सकता है. 


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