पटना: बिहार में कोरोना से त्राहिमाम के बीच पटना एम्स के रेजिडेंट डॉक्टरों ने सोमवार को अस्पताल प्रबंधन को हड़ताल पर जाने की चेतावनी दी है. रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन ने अस्पताल प्रबंधन को पत्र लिख कर उनकी मांगों पर विचार करने की बात कही है. उन्होंने पत्र में चेतावनी दी है कि अगर 13 अगस्त तक उनके मांगों पर विचार नहीं किया गया तो 14 अगस्त से वे अनिश्चित कालीन हड़ताल करेंगे.
रेजिडेंट डॉक्टर्स एसोसिएशन की ओर से लिखे पत्र में कहा गया है कि मौजूदा समय में एम्स पटना, बिहार के गंभीर कोरोना मरीजों के ईलाज में महत्वपूर्ण भूमिका निभा रही है और यहां काम करने वाले इनटर्न और रेजिडेंट ही 24×7 जमीनी स्तर पर मरीजों के इलाज के लिए उपलब्ध रहते हैं. लेकिन यह दुर्भाग्य ही कहा जाएगा कि बिहार सरकार ने एम्स पटना में वर्तमान में कार्यरत 21 सीनियर रेजिडेंट को विशेषग्य चिकित्सा पदाधिकारी के रूप में एम्स पटना में प्रतिनियुक्त कर दिया है.
इसकी वजह से यहां कार्यरत 21 डॉक्टरों का सीनियर रेजिडेंसी का टेन्यूर अधूरा रह जाएगा और भविष्य में इसकी वजह से कई परेशानियों का सामना करना पर सकता है. जबकि बिहार सरकार के विभिन्न चिकित्सा महाविद्यालय के सीनियर रेजिजेंट को उसका रेजिडेंसी पूरा करने की छूट दी गई है.
साथ ही साथ बिहार सरकार की ओर से घोषित इन्सुरेंस स्किम जिसमें यदि किसी स्वास्थ्य कर्मी की मौत केरोना संक्रमण से होती है तो उसके परिजनों को नौकरी या पेंशन का प्रावधान किया गया है, उससे एम्स पटना के स्वास्थ्य कर्मियों को दूर रखा गया है, जो कि वहां काम करने वाले स्वास्थ्य कर्मियों के लिए हतोत्साहित करने वाला कदम है.
ऐसे में एम्स प्रशासन और बिहार सरकार जल्द हमारी इन मांगों पर गंभिरता से विचार करे नहीं तो मजबूरन 14 अगस्त से सभी इनटर्न और रेजिडेंट डॉक्टरों को ना चाहते हुए भी हड़ताल पर जाना पड़ेगा.
यह हैं डॉक्टरों की मांगें-
1. बिहार सरकार के अन्य मेडिकल कॉलेज के सीनियर रेजिडेंट की तरह एम्स पटना में कार्यरत सीनियर रेजिजेंट को भी रेजिडेंसी पूरा करने कि अनुमती प्रदान करे.
2. एम्स पटना के जिन 21 सीनियर रेजिडेंट की प्रतिनियुक्ति स्पेशलिस्ट मेडिकल ऑफिसर के रूप में एम्स पटना में किया गया है, उस नोटिस को अविलंब निरस्त किया जाए.
3. बिहार सरकार की ओर से कोरोना योद्धाओं के लिए जो इन्स्यूरेंस स्किम बिहार के स्वास्थ्य कर्मियों के लिए लागू किया गया है उसमें एम्स पटना के रेजिडेंट और इनटर्न को भी शामिल किया जाए और आगे बिहार सरकार की ओर से कोरोना योद्धाओं के लिए जो भी प्रोत्साहन राशी या स्किम की घोषणा की जाती है उसमें एम्स पटना में कार्यरत रेजिडेंट और इनटर्न को भी शामिल किया जाए.