One Nation, One Election: देश की संसद में शीतकालीन सत्र के दौरान वन नेशन वन इलेक्शन को लेकर चर्चा हो रही है. संसद से सड़क तक इस मुद्दे को लेकर सियासी संग्राम छिड़ा हुआ है. इसी बीच राष्ट्रीय जनता दल (RJD) की तरफ से एक पोस्टर जारी कर केंद्र की मोदी सरकार से वन नेशन वन इलेक्शन को लेकर तीन सवाल पूछे गए हैं.
राजद की ओर पूछे गए तीन सवाल
• वन नेशन वन एजुकेशन क्यों नहीं?
• हमारे देश में कोई युवा बेरोजगार नहीं रहे यह नियम क्यों नहीं है?
• वन नेशन वन इलेक्शन तो पब्लिक सुविधा एक क्यों नहीं है?
‘सब की शिक्षा एक समान होनी चाहिए’
राजद के पोस्टर में लालू प्रसाद यादव, तेजस्वी यादव और पूर्व मुख्यमंत्री राबड़ी देवी की तस्वीर लगाकर यह कहा गया है कि राष्ट्रपति का हो संतान या हो भंगी की संतान सब की शिक्षा एक समान होनी चाहिए. वहीं दूसरी मांग जो इस पोस्टर से की गई वह स्वास्थ्य सेवा को लेकर है कि वन नेशन वन ट्रीटमेंट क्यों नहीं? बता दें कि इस पोस्टर के बीच में भारत का नक्शे को भगवा रंग देकर उसपर पीएम मोदी की प्रतीकात्मक फोटो बनाई गई है. फोटो के नीचे लिखा गया है कि वन नेशन वन इलेक्शन क्यों?
निश्चित तौर पर जहां सदन की पटल पर वन नेशन वन इलेक्शन को लेकर विधेयक पेश होना है. वही बिहार में राजद ने इस मुद्दे को लेकर अब केंद्र की मोदी सरकार से पोस्टर के माध्यम से सवाल पूछ दिए हैं.
वन नेशन वन इलेक्शन का जहां एनडीए के नेता समर्थन कर रहे हैं तो वहीं इंडिया गठबंधन की तरफ से लगातार विरोध किया जा रहा है. बिहार सरकार में मंत्री विजय कुमार चौधरी की भी इस मुद्दे पर प्रतिक्रिया आई थी. उन्होंने कहा कि वन नेशन-वन इलेक्शन अगर लागू होता है तो बहुत बढ़िया है. विपक्ष को तो सबमें कुछ न कुछ नजर आता है. अगर वन नेशन-वन इलेक्शन लागू होता है इसमें बुरा क्या है और क्या तानाशाही है.
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