कैमूर: जिले के हटा में रविवार को बिहार सरकार के पूर्व कृषि मंत्री सुधाकर सिंह (Sudhakar Singh) ने अपनी सभा में नीतीश कुमार (CM Nitish Kumar) को जमकर खरी खोटी सुनाई. उन्होंने नीतीश सरकार के साथ-साथ अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री जामा खान (Jamakhan) पर भी हमला बोला. सुधाकर सिंह ने कहा कि राज्य के जितने भी मंत्री हैं वह मुख्यमंत्री के नजर में चपरासी हैं यानी रबड़ स्टांप हैं. सारी देखरेख मुख्यमंत्री ही करते हैं बाकी लोग नाम के ही मंत्री बने हैं. इशारों ही इशारों में बिना मुख्यमंत्री का नाम लिए सिंह ने कहा कि कुछ लोगों के लिए तो बस पीएम बनना ही जैसे स्वर्ग जाने का सीधा रास्ता होता है.


पीएम की कुर्सी ही स्वर्ग का द्वार


सीएम पर प्रहार करते हुए सुधाकर सिंह ने कहा कि जब भी प्रधान सचिव फाइल लाता है तो फाइल पर चुपचाप मंत्री को दस्तखत यह सोचकर कर देना होता है कि कहीं हमारा मास्टर गुस्सा ना हो जाए. उन्होंने कहा कि कुछ लोगों को प्रधानमंत्री बनने की बेचैनी है जैसे लगता है कि स्वर्ग जाने का सीधा रास्ता प्रधानमंत्री के कुर्सी से होकर ही जाता है. पूर्व कृषि मंत्री सुधाकर सिंह कैमूर के चैनपुर प्रखंड के हटा में खरवार आदिवासी समाज के अभिनंदन समारोह में रविवार को पहुंचे थे. यहां मंच से बोलते हुए उन्होंने नीतीश कुमार पर हमला किया.



ये सरकार 17 साल से है और हमें जुड़े केवल दो महीने हुए थे


बिहार सरकार के पूर्व कृषि मंत्री सुधाकर सिंह ने  मंच से सरकार पर हमला बोलते हुए कहा कि यह 17 सालों से चल रही वही पुरानी सरकार है, लेकिन अंतर इतना ही है कि उसमें हम नए लोग जुड़ गए. हम नए लोगों की कितनी बात सुनी जा रही यह तो आप लोग देख ही रहे हैं. जब हम विधायक नहीं थे तब भी आप की बात यहां से लेकर पटना तक उठाए. जब विधायक और मंत्री बने तब भी आपकी बातों को विधानसभा के भीतर भी हमने कहा है. सरकार नई बनी जरूर है जिसमें हम लोगों को आए हुए सिर्फ दो महीने ही हुए. खैर अब तो हम मंत्री भी नहीं रहे.


जामा खान पर भी किया हमला


इसके साथ ही उन्होंने चैनपुर विधानसभा क्षेत्र से विधायक बिहार सरकार के अल्पसंख्यक कल्याण मंत्री जामा खान पर भी तंज कसा. कहा कि दो साल से मंत्री रहते हुए भी यहां के लोगों का विकास नहीं करा पाए. जामा खान पर बोलते हुए कहा कि इस इलाके के नुमाइंदा दो साल से मंत्री हैं. यह पुरानी सरकार के नुमाइंदे हैं जो आपके विधायक हैं, लेकिन मैं फिर भी अब मंत्री नहीं हूं. जिस विभाग से आपका काम होना है उसके मंत्री हैं मुख्यमंत्री. यानी कि कार्मिक एवं प्रशासनिक सुधार विभाग. इस विभाग को राज्य के मुख्यमंत्री सीधे देखते हैं, लेकिन उन तक लोगों को पहुंचना भी आसान नहीं है.आजकल के मंत्री तो चपरासी होते हैं. कहने को तो कागज में मंत्री हैं, लेकिन सरकार की नजर में चपरासी हैं यानी रबड़ स्टांप.


यह भी पढ़ें- Rohtas News: रोहतास के युवकों का कमाल, बनाई हेलीकॉप्टर वाली कार, जगमगाती पंखियों के साथ लोग खूब ले रहे सेल्फी