पटना: पूर्व उपमुख्यमंत्री एवं राज्यसभा सांसद सुशील कुमार मोदी (Sushil Kumar Modi) ने गुरुवार (8 फरवरी) को बयान जारी करते हुए कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi) की जाति पर अमर्यादित टिप्पणी करने वाले राहुल गांधी (Rahul Gandhi) अब उनकी जाति को पिछड़ा वर्ग में शामिल करने के गुजरात की कांग्रेस सरकार के फैसले पर झूठा प्रचार कर रहे हैं. राहुल गांधी को पता नहीं है कि 25 जुलाई 1994 को गुजरात की कांग्रेस सरकार ने मंडल आयोग की रिपोर्ट के दबाव में तेली घांची जाति और उसकी उपजातियों को पिछड़ा वर्ग (ओबीसी) में शामिल किया था. उस समय नरेंद्र मोदी किसी सरकारी पद पर नहीं थे.
'नेहरू से राजीव गांधी तक कांग्रेस आरक्षण विरोधी रही'
सुशील मोदी ने कहा कि बाद में 4 अप्रैल 2000 को केंद्र सरकार ने तेली घांची जाति को ओबीसी की केंद्रीय सूची में शामिल किया. यह जाति अधिकतर राज्यों की पिछड़ा वर्ग सूची में है. बिहार की एनडीए सरकार ने तेली जाति को अति पिछड़ा वर्ग में रखा है. कांग्रेस का इतिहास पिछड़ा विरोधी रहा है. नेहरू से राजीव गांधी तक कांग्रेस आरक्षण विरोधी ही रही. नेहरू मानते थे कि आरक्षण देने से सरकारी सेवाओं का स्तर गिर जाएगा. यही कारण था कि केंद्र की कांग्रेस सरकारों ने काका कालेलकर समिति की रिपोर्ट खारिज की और मंडल आयोग की रिपोर्ट को 10 साल तक दबाए रखा.
राज्यसभा सांसद ने कहा कि राहुल गांधी के पिता राजीव गांधी ने मंडल आयोग की रिपोर्ट लागू करने का विरोध संसद में खड़े होकर किया था वे आज किस मुंह से बिहार में जातीय सर्वे कराने का श्रेय ले रहे हैं? अपनी सरकार बनने पर देश में जातीय जनगणना कराने की बात कर रहे हैं? पिछले साल विधानसभा के चुनावों में कांग्रेस का जातीय जनगणना का मुद्दा फेल कर गया, जबकि लोगों ने पिछड़े समाज से आने वाले प्रधानमंत्री मोदी की गारंटी पर पूरा भरोसा जताया.
राहुल गांधी से मांगे सुशील मोदी ने जवाब
सुशील मोदी ने कहा, "राहुल गांधी बताएं कि कर्नाटक की कांग्रेस सरकार ने 2015 में जो जातीय सर्वे कराया था, उसकी रिपोर्ट 8 साल से सार्वजनिक क्यों नहीं हो पाई? हिमाचल प्रदेश में एक साल से कांग्रेस की सरकार है, लेकिन वहां जातीय सर्वेक्षण कराने का निर्णय क्यों नहीं हुआ? तेलंगाना में कांग्रेस सत्ता में आने के बाद जातीय सर्वे पर क्यों चुप्पी साध गई? इसका जवाब राहुल गांधी को देना चाहिए."
यह भी पढ़ें- KK Pathak: 'कोई दिक्कत तो नहीं...', जब रात में अचानक पहुंच गए ACS केके पाठक, मच गया हड़कंप