(Source: ECI/ABP News/ABP Majha)
केंद्र के कृषि कानूनों के खिलाफ 30 जनवरी को RJD समेत महागठबंधन करेगी मानव श्रृंखला का आह्वान-तेजस्वी यादव
तेजस्वी यादव ने बताया कि आज सभी महागठबंधन के नेता की बैठक थी. काले कानून के खिलाफ हमारी मानव श्रृंखला की तैयारियों पर चर्चा हुई. तेजस्वी यादव ने आगे कहा कि ये साफ दिखाता है कि सरकार काला कानून थोपना चाहती है.देश की 80 प्रतिशत आबादी का सवाल है.आखिर कौन सी मज़बूरी है कि सरकार ये कानून थोपना चाह रही है.ये पूरा कानून अन्नदाताओं के लिए नही फंड दाताओं के लिए है.
पटनाः शुक्रवार को पटना में राबड़ी आवास पर महा गठबंधन के नेताओं ने बैठक की. इस बैठक में देश मे चल रहे किसान आंदोलन के समर्थन मे 30 जनवरी 2021 को महागठबंधन के आह्वान पर मानव चेन के लिए की जा रही तैयारियों की समीक्षा की गयी. बैठक के बाद तेजस्वी ने कहा कि आज सभी महागठबंधन के नेताओं की बैठक थी. काले कानून के खिलाफ हमारी मानव श्रृंखला की तैयारियों पर चर्चा हुई. उन्होंने ये भी कहा कि आज राष्ट्रपति के भाषण का 19 पार्टियों ने बहिष्कार किया.
कृषि कानून अन्नदाताओं के लिए नहीं फंडदाताओं के लिए है
तेजस्वी यादव ने आगे कहा कि ये साफ दिखाता है कि सरकार काला कानून थोपना चाहती है.देश की 80 प्रतिशत आबादी का सवाल है.आखिर कौन सी मज़बूरी है कि सरकार ये कानून थोपना चाह रही है.ये पूरा कानून अन्नदाताओं के लिए नही फंड दाताओं के लिए है.किसानों की जमीन पूंजीपतियों को देने की तैयारी कर रही सरकार लेकिन हमलोग पूरी मज़बूती के साथ किसानों के पक्ष में खड़े हैं.हमने कई बार कहा है राजद सरकार में एमएसपी से ज्यादा दाम पर अनाज की खरीददारी हुई है.
नीतीश कुमार खामोश क्यों हैं
तेजस्वी ने सवाल करते हुए कहा कि नीतीश कुमार चुप क्यों हैं,किसान जो कर रहे हैं या गलत कर रहे हैं, ये काला कानून किसानों के हित में है या नही. नितीश कुमार की मज़बूरियां क्या है.नीतीश कुमार लोकतंत्र का हत्या करने में लगे हैं. डीजल महंगा करेंगे ये लोग,घाटा किसान को होगा. बीजेपी के लोग किसान और जवान को फंड दाताओं के लिए लड़वा रहे हैं. जवान भी किसान परिवार से आते है और वो भी सरकार के खिलाफ आक्रोशित है.कल मानव श्रृंखला बनाएंगे लेकिन वो अंत नही होगा हमारा आंदोलन चलता रहेगा.हमलोग अपने रास्ते से नही भटकेंगे ,हमलोग किसानों के साथ रहेंगे.
किसानों पर क्यों थोपा जा रहा है कानून
तेजस्वी यादव ने किसानों के प्रदर्शन को लेकर ये भी कहा कि कोर्ट को अपना काम करने दीजिए आखिर किसान क्यों हटे, इतने महीने से वो बैठे हैं. आपने किसी का सुना क्या कुछ नुकसान हुआ हो, लाल किले पर जो हुआ वो किसने कराया है ये तो जगजाहिर है हमको बताने की जरूरत नहीं है. ये पूरी तरह स्पष्ट है कि ये किसान विरोधी कानून है और लगभग 80 फीसदी किसानों की आबादी इस क़ानून से प्रभावित है, जब किसान नही चाहते ये कानून तो जबरदस्ती उन पर ये क्यों थोपा जा रहा है ? प्रधानमंत्री आप हैं क्या आप उन किसानों के नही है, जब देश का किसान सड़को पर है और वो कह रहा है कि हमे वो कानून नही चाहिए तो आप क्यों थोपना चाहते हैं वो कानून.
टीएमसी गठबंधन पर अभी चर्चा बाक़ी
तेजसवी यादव ने बंगाल चुनाव को लेकर भी कहा कि, बंगाल और असम में जो आम चुनाव होने वाले हैं उसमें हमलोग दो चार दिन में निर्णय लेंगे की हमे वहां चुनाव लड़ना है या नही, चुनाव में जहां भी हमारे सहयोगी को हमारी जरूरत होगी वहां हम खड़े रहेंगे. टीएमसी से गठबंधन पर तेजस्वी ने कहा कि अभी हमे फैसला लेना है कि चुनाव लड़े या नही, अगर लड़ते हैं तो किसके साथ लड़ेंगे ये आगे की बात है.अभी हमे पहले निर्णय लेना है कि चुनाव लड़े या नही और जाहिर सी बात है टीएमसी हो या लेफ्ट हो या कांग्रेस हो हम चाहते हैं कि सभी मिलकर चुनाव लड़ें.
शिक्षकों की बहाली क्यों नहीं हो रही है
शिक्षक बहाली पर तेजस्वी यादव ने कहा कि ये हैरान कर देने वाली बात है कि अखिर उनकी बहाली क्यों नही हो रही है, ये लिस्ट कही और तैयार हो रही है क्या ? या फिर आरसीपी टैक्स वाली लिस्ट तैयार हो रही है इसलिए शिक्षकों की बहाली में देर की जा रही है. जब इसमे हाईकोर्ट का आदेश है फिर आप इंतजार क्यों कर रहे हैं जबकि हाईकोर्ट के आदेश में जल्द से जल्द जैसा शब्द का प्रयोग है क्या इसकी परिभाषा सरकार को नही समझ आती, नियुक्ति पत्र तो इन्हें कब का मिल जाना चाहिए था, कबसे वे बेचारे परेशान हैं. देरी के कारण जिनकी उम्र निकल गई उनके भविष्य के साथ जो खिलवाड़ हुआ उसका जिम्मेदार कौन होगा?
रूपेश हत्या कांड में अबतक गिरफ़्तारी क्यों नहीं हुई
लॉ एंड ऑर्डर को लेकर तेजस्वी यादव ने कहा राज्य में कानून और व्यवस्था का हाल बद से बदत्तर होता जा रहा है. नीतीश कुमार को सामने आकर बताना चाहिए कि आखिर क्यों अपराध बढ़ रहा है, हम पहले दिन से कहते रहे हैं जो लोग सत्ता में बैठे हुए हैं वो अपराधियों को संरक्षण देने का काम कर रहे हैं. जब आप सच बोलते हैं तो आनन फानन में सोशल मीडिया के खिलाफ कानून लाया जा रहा है ताकि आप जुबान पर ताला लगा लें. इस तरह नीतीश सरकार लोगों को ब्लैकमेल करना चाहती है, डराना चाहती है, कि उनके शासन में उनके संरक्षण में जो भ्रष्टाचार और अपराध बढ़ रहा है आप इसपर कुछ मत बोलिये आप कुछ बोलेंगे तो जेल भेज दिए जाएंगे.
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