सुपौलजिले के राघोपुर प्रखंड के रामपुर गांव वार्ड-6 के रहने वाले तीन मजदूर को हरियाणा के करनाल में बंधक बना लिया गया है. इस मामले में अब बंधक बने मजदूरों के परिजनों ने करनाल के उपायुक्त को बीते रविवार को ई-मेल से आवेदन भेजा और ठेकेदार के चंगुल से उन्हें मुक्त कराने के लिए गुहार लगाई है.


शांति देवी, राधा देवी और सुबेदा खातून की ओर से आवेदन दिया गया है. उन्होंने कहा है कि वे लोग गरीब हैं. 17 अप्रैल 2021 को हरियाणा के राइस मिल ठेकेदार मनोज कुमार सिंह और उनके मुंशी शेखर परिजनों को ज्यादा कमाई की लालच देकर साथ ले गए थे. 19 अप्रैल को सभी मजदूर करनाल जिले के नाडाना गांव गामरी ताराबाड़ी स्थित अन्नपूर्णा राइस मिल में काम करने लगे.


54 मजदूरों में से पहले 13 को बनाया था बंधक


बताया कि फैक्ट्री में जाने वाले मजदूरों की संख्या 54 थी. कोरोनाकाल में जैसे-जैसे राइस मिल में काम कम होता गया तो ठेकेदार द्वारा मजदूरों को छुट्टी दी जाने लगी. 30 जुलाई 2021 को काम समाप्त हो गया तो 13 मजदूर को वहां बंधक बना लिया गया. उन मजदूरों से जबरन काम कराया जाने लगा जिसकी शिकायत उनलोगों को मिली तो 2 अगस्त 2021 को ई-मेल से इस संबंध में करनाल के उपायुक्त से शिकायत की गई.


शिकायत मिलने के बाद उपायुक्त ने त्वरित कार्रवाई करते हुए चार अगस्त को ठेकेदार और मुंशी को बुलाकर सभी 13 मजदूरों को मुक्त कर बिहार भेजने का आदेश दिया. इसके बाद ठेकेदार व मुंशी ने एक झूठा शपथ पत्र उपायुक्त के यहां देकर कहा कि सभी मजदूर को घर भेज दिया गया, लेकिन 10 मजदूरों को ही मुक्त किया गया जबकि तीन को बंधक बनाए रखा गया.


परिजनों की ओर से दिए गए आवेदन में सिकंदर कुमार (24), मु. शमीम (26) और सूरज कुमार (17) को बंधक बनाने की बात कही गई है. परिजनों ने आशंका जताई है कि ठेकेदार द्वारा सूरज की हत्या करने की साजिश की जा रही है. उपायुक्त से तीनों मजदूरों को तत्काल रिहा करवाने के लिए अनुरोध किया है.


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