Chhattisgarh  Election 2023 News: छत्तीसगढ़ में चुनावी (Chhattisgarh election) सरगर्मी तेज हो गई है. बीजेपी  (BJP) हाईकमान ने छत्तीसगढ़ का मोर्चा संभाल लिया है. बुधवार  (5 July) को केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह (Amit Shah) रायपुर पहुंचे हैं. बीजेपी के प्रदेश कार्यलाय में अमित शाह प्रदेश के पदाधिकारियों के साथ मीटिंग करेंगे. इस मीटिंग को आगामी विधानसभा चुनाव (Vidhansabha Chunav) को ध्यान में रखते हुए बहुत अहम माना जा रहा है. इसके साथ 7 जुलाई को पीएम मोदी (PM Modi) के छत्तीसगढ़ दौरे को सफल बनाने के लिए भी बैठक में अमित शाह बीजेपी के बड़े नेताओं को निर्देश दे सकते हैं.


बीजेपी कार्यालय में अमित शाह की हाई लेवल मीटिंग 


दरअसल बुधवार शाम 7 बजे के आस पास अमित शाह रायपुर एयरपोर्ट पहुंचे हैं. एयरपोर्ट में छत्तीसगढ़ बीजेपी के नेताओं ने उनका स्वागत किया है. इसके बाद अमित शाह पूर्व मुख्यमंत्री डॉ रमन सिंह के साथ एक कार में बीजेपी के प्रदेश कार्यालय कुशाभाऊ ठाकरे परिसर पहुंचे हैं. मीटिंग कुछ देर में शुरू होने वाली है. जोकि रात 10 बजे तक चलने का पार्टी के पदाधिकारियों ने अनुमान लगाया है. वहीं इसके बाद अमित शाह सुबह 10 बजे के आस पास वापस दिल्ली लौट जाएंगे. लेकिन बीजेपी की इस मीटिंग को लेकर कई तरह के कयास लगाए जा रहे हैं. छत्तीसगढ़ कांग्रेस ने तो इस मीटिंग बीजेपी के संगठन में गुटबाजी होने का दावा कर दिया है.


कांग्रेस ने कहा- बीजेपी के संगठन में गुटबाजी


कांग्रेस के प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि भाजपा के केंद्रीय नेतृत्व ने मान लिया है कि छत्तीसगढ़ के नेता पीएम मोदी की सभा कराने में अक्षम हैं, क्योंकि प्रदेश की जनता का विश्वास वो खो चुके हैं. बीजेपी संगठन में गुटबाजी चरम सीमा पर है कार्यकर्ता और नेताओं के बीच में तलवारे खींचीं हुई हैं. प्रदेश प्रभारी और प्रदेश अध्यक्ष की भाजपा नेता और कार्यकर्ता सुन नहीं रहे हैं. ऐसे में पीएम मोदी की सभा में भीड़ नहीं होने की आशंका के चलते ही अमित शाह छत्तीसगढ़ आकर भीड़ इकट्ठा करने और भीड़ इकट्ठा करने नेताओं को दी गई जिम्मेदारी पर नजर रखेंगे.


कांग्रेस के आरोपों पर बीजेपी का पलटवार 


इसके जवाब में बीजेपी की तरफ से लगातार कहा जा रहा है कि बीजेपी के केंद्रीय नेताओं के आने से कांग्रेस पार्टी डरी हुई है और घबराई हुई है. कांग्रेस के आरोप पर पलटवार करते हुए बीजेपी के प्रदेश महामंत्री केदार कश्यप ने कहा कि छत्तीसगढ़ में भाजपा नहीं बल्कि कांग्रेस और उसका संगठन अपने अस्तित्व के लिए संघर्ष कर रहा है. कांग्रेस में संगठन नाम की कोई व्यवस्था नहीं रह गई है. यह पूरी तरह चरमरा चुका है. प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष अपने पदाधिकारी नियुक्त करते हैं तो कांग्रेस की प्रदेश प्रभारी उसे रद्द कर देती हैं. जिस मंत्री ने मुख्यमंत्री के विरुद्ध विभाग त्यागा, उसे उप मुख्यमंत्री बनाया जाना कांग्रेस की सत्ता के भीतर के संघर्ष का स्पष्ट प्रमाण है. छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सत्ता और संगठन दोनों ही जगह जिस तरह महाभारत में उलझी हुई है, उससे छत्तीसगढ़ राज्य कांग्रेस के लिए कुरुक्षेत्र बन गया है.


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चुनाव से पहले छत्तीसगढ़ में बीजेपी बड़े नेताओं का डेरा 


गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ चुनावी मुहाने में खड़ा है. 2018 के चुनाव में 15 साल तक सत्ता में रही बीजेपी को करारी हार का सामना करना पड़ा था. इस लिहाजा 2023 के चुनाव में बीजेपी कोई कसर नहीं छोड़ना चाहती है. इस लिए बीजेपी एड़ी चोटी का जोर लगा रही है. लगातार केंद्रीय मंत्रियों का छत्तीसगढ़ में दौरा किया जा रहा है. अमित शाह 13 दिन में दूसरी बार रायपुर पहुंचे है. गुरुवार को स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया रायपुर आ रहे है. रायपुर एम्स में एमबीबीएस छात्रों से मुलाकात करेंगे. इसके बाद शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी रायपुर आ रहे है. वहीं ये भी जानकारी मिली है कि इस महीने कई और केंद्रीय मंत्री छत्तीसगढ़ दौरे पर आ सकते है. इनके कार्यक्रम अभी तय किए जा रहे है.