छत्तीसगढ़ के बालोद जिले के अर्जुन्दा तहसील के टेकापार गांव में एक कछुए की पीठ पर एक अजीब सी आकृर्ति उभर कर सामने आने के बाद लोग इसे चमत्कार मान रहे हैं. यहां पर 4 साल के कछुए के कूबड़ में एक अनोखी तस्वीर उभरने लगी. जैसे ही घर वालों ने उस तस्वीर को देखी तो लोग उसे भगवान का चमत्कार मान रहे हैं और बालाजी की प्रतिमा स्वरूप मानकर पूजा अर्चना कर रहे हैं. बता दें कि टेकापार गांव के रहने वाले हुमन साहू ने अपने घर में 4 साल से उस कछुए को पाल कर रखा है.


भगवान बालाजी की आकृति मानकर लोग कर रहे हैं पूजा


हुमन साहू की मानें तो इस वर्ष एकादशी के दिन अचानक उसके कूबड़ में बालाजी का स्वरूप दिखाई दिया. जिसके बाद कछुए को पूजा स्थल पर रखकर घरवालों ने पूजा-अर्चना करनी शुरू की. हुमन साहू की मानें तो तीन बार कछुए के कूबड़ में वह चित्र अपने आप परिवर्तन हो चुका है लेकिन दृश्य केवल बालाजी की ही होती है. जैसे ही इस बात की जानकारी आसपास के लोगों को मिली तो धीरे-धीरे आग की तरह पूरे क्षेत्र में फैल गई और लोग बालाजी के दर्शन करने के लिए उनके घर तक पहुंचने लगे.




 निकाली गई बालाजी यात्रा


हुमन साहू ने इसके बारे में पंडितों से भी मुलाकात कर चर्चा की तो पंडितों ने भी बालाजी का चमत्कार माना और आस्था व्यक्त करने की बात कही जिसके बाद हुमन साहू ने पांच दिवसीय बालाजी यात्रा निकालने की योजना बनाई और अपने गांव से शुरुआत कर गुंडरदेही विधानसभा क्षेत्र के विभिन्न गांवों में झांकी के माध्यम से बालाजी की यात्रा निकाली. जहां बड़ी संख्या में लोग उस यात्रा में शामिल हुए.


यात्रा के समापन पर मंत्री सहित 10 समाज के अध्यक्ष हुए शामिल


बालाजी की यात्रा लगातार 4 दिनों से निकल रही है जिसका समापन होने वाला है. मोहन्दी पाठ में मंत्री कवासी लखमा सहित 10 समाज के अध्यक्ष की मौजूदगी में बालाजी की यात्रा निकाली गई और लोगों को झांकी के माध्यम से बालाजी के दर्शन कराने के साथ ही इस यात्रा का समापन हो गया है.


इसे भी पढ़ें:


Bageshwar Dham: दिव्य दरबार में धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री को बांधी राखी, क्यों बनीं सुल्ताना बेगम से शुभी दासी, जानें इनसाइड स्टोरी