Balrampur Elephant Terror : बलरामपुर में झारखंड से आए हाथी ने मचाया आतंक, ग्रामीण की कुचल कर ले ली जान
Elephant Killed One: ग्रामीणों का कहना है कि हाथी काफी बड़ा है. गांव कनकपुर के तकिया पारा के नजदीक दोमुहान नदी के पास हर शाम पहुंचता है. जैसे ही अंधेरा होता है, हाथी फसल को नुकसान पहुंचाने लगता है.
Balrampur News: बलरामपुर जिले के रामानुजगंज (Ramanujganj) नगर के समीप ग्राम आरागही के नवापारा में कुछ दिन पहले ही सात हाथियों के दल ने गेहूं की फसल बर्बाद कर दी थी. इधर, गांव कनकपुर (Kanakpur) के तकिया पारा में झारखंड (Jharkhand) से आए एक हाथी के आतंक से ग्रामीण भयभीत हैं. ग्रामीणों का आरोप है कि वन विभाग (Forest Department) को सूचना दी गई थी. लेकिन, विभाग हाथी को लेकर गंभीर नहीं है.
हर शाम पहुंचता है गांव में
गांव के लोगों का कहना है कि हाथी काफी बड़ा है. ग्राम पंचायत कनकपुर के तकिया पारा के नजदीक दोमुहान नदी के आसपास हर शाम 5 से 6 बजे के बीच पहुंचता है. ग्रामीणों का कहना है कि जैसे ही अंधेरा होता है, वैसे ही हाथी गांव में घुसकर फसल को नुकसान पहुंचाने लगता है. बीती रात भी हाथी ने ग्राम पंचायत कनकपुर के तकिया पारा में ग्राम पंचायत के उपसरपंच की बाउंड्री वॉल तोड़ दी थी. उसने सूरज देव सिंह का घर भी क्षतिग्रस्त कर दिया था. वह ग्रामीणों की गेहूं की खड़ी फसल को भी बर्बाद कर रहा है.
महुआ बीनने गए ग्रामीण को कुचला
ग्रामीणों ने बताया कि झारखंड प्रदेश के ग्राम ऑनहर में सुबह महुआ बीनने गए एक ग्रामीण को हाथी ने कुचल कर मार डाला. ग्रामीणों का कहना है कि रातभर हाथी लोगों के घरों को और फसल को नुकसान पहुंचाता रहा और सुबह 4 बजे वह झारखंड की ओर चला गया.
क्या बोले डीएफओ
बलरामपुर के डीएफओ विवेकानंद झा ने बताया कि क्षेत्र में अभी हाथियों का झुंड आया हुआ है. जब उन्हें बताया गया कि ग्राम वासियों के अनुसार सिर्फ एक हाथी है तो उन्होंने कहा कि में तत्काल इस मामले में वन कर्मियों को ग्राम वासियों के सहयोग के लिए भेज रहा हूं.
जंगल की ओर न जाने की सलाह
इस मामले में वन परिक्षेत्राधिकारी संतोष पांडेय ने बताया कि हाथियों द्वारा ग्रामीणों को नुकसान पहुंचाने के मामले में विभाग सतर्क है. ग्राम वासियों के बीच जाकर वन विभाग के कर्मी प्रचार प्रसार करवा रहे हैं. ग्रामीणों से अपील की जा रही है कि फिलहाल जंगल की ओर न जाएं और रात में अगर हाथी की सूचना होती है तो वे पक्के मकानों में रहें. विभाग अपनी तरफ से पूरी कोशिश कर रहा है. चार-चार वाहन विशेष रूप से वन क्षेत्र में लगाए गए हैं, ताकि ग्रामीणों को सुरक्षित रखा जा सके. उन्होंने कहा कि जहां-जहां हाथी या हाथियों का दल नुकसान पहुंचा रहा है, मुआवजे के लिए प्रकरण तैयार कर रहे हैं.
यह भी पढ़ें : Chhattisgarh: जगदलपुर में CM बघेल करेंगे ’मुख्यमंत्री आदिवासी परब सम्मान निधि योजना’ का शुभारंभ, जानें डिटेल