Chhattigarh News: रक्षा मंत्रालय के गिरौला कैंप में तेंदुए की दहशत, चार शावकों को दिया जन्म, वन विभाग ने जारी की गाइडलाइन
Leopard in Bastar: डिफेंस के अधिकारियों ने बताया कि कुछ दिनों से एक मादा तेंदुआ गिरौल कैंप के घने वन क्षेत्र में नजर आ रही थी. कैंप के भीतर संभावित क्षेत्र में पिंजरा भी लगाया गया था.
Bastra News: छत्तीसगढ़ के बस्तर जिले के गिरोला में स्थित डीआरडीओ (डिफेंस रिसर्च एंड डवलपमेंट ऑर्गनाइजेशन) के डिफेंस एरिया में एक मादा तेंदुआ दिखने से दहशत का माहौल बना हुआ है. बताया जा रहा है कि रक्षा मंत्रालय के इस गिरोला कैंप के भीतर तेंदुए ने चार शावकों भी जन्म दिया है. इसके चलते दिन और रात में ड्यूटी करने वाले यहां के रक्षाकर्मियों को वन विभाग ने पूरी तरह से सावधानी बरतने के निर्देश दिए हैं. इधर डिफेंस के अधिकारियों ने तेंदुआ द्वारा चार शावकों को जन्म देने की जानकारी वन विभाग के अधिकारियों को देते हुए सुरक्षा के हिसाब से इन्हें अन्यत्र ले जाने की मांग की है.
डिफेंस के अधिकारियों ने बताया कि कुछ दिनों से एक मादा तेंदुआ गिरौल कैंप के घने वन क्षेत्र में नजर आ रही थी. इसकी सूचना कैंप अधिकारियों ने बस्तर वन विभाग के एसडीओ देवलाल दुग्गा को दी, जिसके चलते कैंप के भीतर संभावित क्षेत्र में पिंजरा भी लगाया गया था. लेकिन चार दिन पहले ही पता चला कि तेंदुए ने गिरौला कैंप के भीतर ही चार शावकों को जन्म दिया है, जिसके चलते फिलहाल पिंजरा हटा लिया गया है.
इधर रक्षा कर्मियों का कहना है कि शावकों को बचाने के लिए मादा तेंदुआ नाइट शिफ्ट में काम करने वाले कर्मचारियों पर कभी भी हमला कर सकती है. ऐसे में सुरक्षाकर्मियों ने तेंदुआ को शावकों सहित पकड़ कर सघन वन क्षेत्र में छोड़ने की मांग वन विभाग के अधिकारियों से की है.
तेंदुए ने चार शावकों को दिया है जन्म
वन विभाग के अधिकारी देवलाल दुग्गा ने बताया कि गिरोला डिफेंस एरिया के सुरक्षाकर्मियों ने कैम्प के अंदर मौजूद जंगलों में मादा तेंदुआ को देखा है और तेंदुआ के द्वारा चार शावको को भी जन्म दिए जाने की भी जानकारी मिली है. हालांकि शावक काफी छोटे हैं ऐसे में यहां वन विभाग ने जो पिंजरा लगाया था उसे हटा लिया है. जल्द ही यहां रेस्क्यू ऑपरेशन चलाकर तेंदुआ को पकड़ने और शावकों को सुरक्षित जगह पर छोड़ा जाएगा.
फिलहाल, सुरक्षाकर्मियों को सावधानी बरतने को कहा गया है, जिसमें रात के समय पैदल और दो पहिया वाहनों से अपने कार्यक्षेत्र में नहीं जाने के साथ ही आवश्यकता अनुसार बंद गाड़ी में आना-जाना करने को कहा गया है. उन्होंने बताया कि इस मामले में उच्च अधिकारियों को सूचना दे दी गई है. उचित माध्यम से तेंदुआ और शावकों को बड़े सावधानी से पड़कर घने जंगलों में छोड़ने की तैयारी कुछ दिनों में की जाएगी.
बस्तर जिले के फॉरेस्ट एरिया में लगातार दिख रहे तेंदुआ
इधर बस्तर जिले के अलग-अलग वन क्षेत्रो में लगातार तेंदुआ देखा जा रहा है. सप्ताह भर पहले ही चित्रकोट वन परिक्षेत्र के एक गांव में तेंदुआ को वन विभाग की टीम ने पकड़ा था और रेस्क्यू कर सुरक्षित जगह छोड़ा था. वहीं, अब बकावंड ब्लॉक के गिरोला में स्थित डिफेंस एरिया में तेंदुआ दिखने से दहशत का माहौल बना हुआ है.
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