Jagdalpur News: छत्तीसगढ़ में 'रेडी टू ईट' को शासकीय विभाग बीज निगम के हाथों सौंपे जाने का विरोध शुरू हो गया है. प्रदेश भर में 3 लाख से अधिक महिला स्व सहायता समूह के कार्यकर्ता राज्य सरकार के खिलाफ लामबंद हो गए हैं. गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ में गर्भवती महिलाओं और कुपोषित बच्चों को पोषित आहार देने के लिए पिछले कई वर्षों से महिला स्व सहायता समूह 'रेडी टू ईट' भोजन तैयार कर रहे हैं. आज जगदलपुर में भी सैकड़ों की संख्या में महिला स्व सहायता समूह के कार्यकर्ताओं ने जिला कलेक्ट्रेट का घेराव किया और सरकार से तुरंत फैसला वापस लेने की मांग की है. कार्यकर्ताओं ने कहा कि सरकार के इस फैसले से बस्तर में हजारों कार्यकर्ता बेरोजगार हो जाएंगे. उन्होंने गुहार लगाई कि राज्य सरकार 'रेडी टू ईट' बनाने का काम उनसे ना छीने. उन्होंने चेतावनी दी कि अगर सरकार अपने फैसले को वापस नहीं लेती है तो बस्तर की सभी महिला कार्यकर्ता सड़क पर उतर कर अनिश्चितकालीन आंदोलन करने के लिए बाध्य होंगी और इसकी पूरी जवाबदेही भूपेश सरकार की होगी. 


कलक्ट्रेट का घेराव करने पहुचीं प्रदर्शकारियों का कहना है कि एक तरफ राज्य सरकार प्रदेश की महिलाओं को सशक्त करने की बात कहती है तो दूसरी तरफ छत्तीसगढ़ से 3 लाख और बस्तर से हजारों महिलाओं का रोजगार छीनने में तुली हुई है. महिला बाल विकास विभाग के अधीन रेडी टू ईट तैयार कर बस्तर की हजारों महिला अपना घर चला रही हैं. ऐसे में राज्य सरकार बिना सोचे समझे सभी महिलाओं को बेरोजगार करने पर तुली हुई है. कार्यकर्ताओं का कहना है कि महिलाएं पिछले कई वर्षों से रेडी टू ईट बनाते आ रही हैं. लेकिन अब राज्य सरकार के बीज निगम को सौंपे जाने से महिलाओं को आर्थिक तंगी का सामना करना पड़ेगा. ऐसे में सभी महिलाएं चाहती हैं कि राज्य सरकार तुरंत अपना फैसला वापस ले और रेडी टू ईट तैयार करने का काम महिला स्व सहायता समूह के ही पास रहने दे.


अगर सरकार ऐसा नहीं करती है तो महिलाओं को अपने हक की लड़ाई के लिए जबरन परिवार के साथ सड़क पर आंदोलन के लिए उतरने बाध्य होना पड़ेगा. महिलाओं ने कहा कि अगर मांग पूरी नहीं होती है तो रेल रोको आंदोलन भी किया जाएगा. उन्होंने मुख्यमंत्री के नाम आज बस्तर के एसडीएम को ज्ञापन सौंप जल्द से जल्द मांगों पर विचार करने की अपील की. नायब तहसीलदार गौतम सिंह गौर ने कहा कि स्व सहायता समूह के ज्ञापन को प्रदेश के मुख्यमंत्री तक पहुंचाया जाएगा. हालांकि स्व सहायता समूह की महिलाएं बस्तर कलेक्टर से मिलना चाहती थीं लेकिन कलेक्टर के दौरे में होने की वजह से मुलाकात नहीं हो पाई. नायब तहसीलदार के आश्वासन के बाद स्व सहायता समूह की महिलाओं ने घेराव खत्म कर दिया. 


Farm Laws Repeal Bill: संसद से कृषि कानून वापसी के बाद किसान मोर्चा ने MSP कानून की मांग तेज की, भावी रणनीति के लिए बुलाई बैठक


Owaisi On CAA: असदुद्दीन ओवैसी ने केंद्र सकार से की CAA वापस लेने की मांग, कहा- ये कानून धर्म के आधार पर बनाया गया