Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ में झीरम जांच रिपोर्ट को लेकर राज्य में सियासत गरमा गई है. बीजेपी और कांग्रेस ने जांच रिपोर्ट को लेकर आमने-सामने आ गई है. जहां एक तरफ बीजेपी लगातार जांच रिपोर्ट्स को सार्वजनिक करने की मांग कर रही वहीं दूसरी तरफ कांग्रेस जांच रिपोर्ट लीक होने का दावा किया है.
बार-बार बढ़ी तारीख
दरअसल झीरम कांड पर 28 मई 2013 को जस्टिस प्रशांत मिश्रा की अगुवाई में जांच कमेटी बनी और तीन महीने में रिपोर्ट देने कहा गया. लेकिन तय सीमा में जांच नहीं हो पाई और लगातार तारीख पर तारीख बढ़ती गई. वहीं 23 सितंबर 2021 को राज्य सरकार को पत्र लिखकर मांग की गई कि फिर से तारीख बढ़ाई जाए लेकिन आयोग ने छह नवंबर 2021 को आयोग ने अपनी रिपोर्ट राज्यपाल को दे दी. इससे नाराज कांग्रेस सरकार के गृहमंत्री ताम्रध्वज साहू और कृषि मंत्री रविंद्र चौबे ने राजीव भवन में प्रेस कांफ्रेंस की है.
कांग्रेस ने रिपोर्ट लीक होने का जताया संदेह
मंत्री रविंद्र चौबे ने बीजेपी पर राजभवन का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया है. उन्होंने कहा हैं कि राजभवन के राजनीति का अखाड़ा नहीं बनाना चाहिए. हमारी जांच आयोग में बीजेपी को आपत्ति क्यों है? हत्याओं का पहला कलंक डॉ रमन सिंह पर लगा है. रविंद्र चौबे ने यह आरोप भी लगाया है कि राजभवन से आया रिपोर्ट पहले से खुल चुका है यानी रिपोर्ट लीक होने का संदेह जताया है.
सीएम भूपेश बघेल का मांगा इस्तीफा
इधर झीरम कांड को लेकर बीजेपी नेता अजय चंद्राकर ने सीएम भूपेश बघेल और कवासी लखमा का इस्तीफा मांग लिया है. दरअसल शनिवार को बीजेपी कार्यसमिति की बैठक में अजय चंद्राकर ने मीडिया से बातचीत के दौरान कांग्रेस पर झीरम जांच पर राजनीति करने के आरोप लगाया है. उन्होंने कहा कि घटना के गवाह कैबिनेट मंत्री कवासी लखमा और सीएम भूपेश बघेल को पद से इस्तीफा देना चाहिए. जांच आयोग को सबसे पहले इन दोनों से बयान लेना चाहिए.
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