Chhattisgarh News: भगवान शिव को कोर्ट ने भेजा कारण बताओ नोटिस, नहीं आने पर देना होगा 10 हजार का जुर्माना
छत्तीसगढ़ के रायगढ़ जिले में तहसीलदार कोर्ट ने भगवान शिव सहित 10 लोगों को नोटिस जारी कर तलब किया है. सुनवाई में नहीं आने पर 10 हजार का जुर्माना और कब्जे से बेदखल भी किया जा सकता है.
Raigarh News: छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के रायगढ़ जिले (Raigarh District) में तहसीलदार कोर्ट (Tehsildar Court) ने भगवान शिव (Lord Shiva) सहित 10 लोगों को नोटिस जारी कर तलब किया है. तहसीलदार ने नोटिस (notice) में भगवान सहित सभी को चेतावनी भी दी है. सुनवाई में नहीं आने पर 10 हजार का जुर्माना और कब्जे से बेदखल भी किया जा सकता है. भोलेनाथ पर अवैध रूप से जमीन पर कब्जा करने का आरोप है. छत्तीसगढ़ में भगवान शिव को नोटिस देने का यह दूसरा मामला है. इससे पहले नवंबर-2021 में जांजगीर-चांपा जिले के सिंचाई विभाग (Irrigation Department) ने भोलेनाथ को नोटिस जारी कर जगह खाली करने कहा गया था.
शिव मंदिर सहित 16 लोगों पर है जमीन कब्जा करने का आरोप
जानकारी के मुताबिक रायगढ़ शहर के वार्ड क्रमांक-25 कौहकुंडा में एक शिव मंदिर है. सुधा राजवाड़े ने बिलासपुर हाईकोर्ट में याचिका लगाई थी. जिसमें शिव मंदिर समेत 16 लोगों पर सरकारी भूमि पर कब्जा करने का आरोप है. हाई कोर्ट में इस मामले की सुनवाई हुई. न्यायालय ने राज्य शासन व तहसीलदार कार्यालय को इसकी जांच करने का आदेश दिया है. कोर्ट के आदेश की तामिली करते हुए तहसीलदार कार्यालय ने 10 लोगों को नोटिस दिया है. कब्जाधारियों को जारी नोटिस में छठवें नंबर पर शिव मंदिर का नाम है. नोटिस में मंदिर के ट्रस्टी, प्रबंधक या पुजारी को संबोधित नहीं किया गया है, बल्कि सीधे शिव मंदिर यानी भगवान शंकर को ही नोटिस जारी किया गया है.
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भगवान शिव अगर नही आते है तो 10 हजार का देना होगा जुर्माना
भगवान शंकर को भेजे नोटिस में तहसीलदार कोर्ट ने चेतावनी जारी की है कि छत्तीसगढ़ भू राजस्व संहिता की धारा के तहत आपका यह कृत्य अपराध की श्रेणी में आता है. आपको 10 हजार रुपये अर्थदंड से दंडित करने व कब्जा भूमि से बेदखल किया जा सकता है. भगवान शिव सहित सभी को नोटिस में कहा गया है कि इस प्रकरण की सुनवाई 23 मार्च को नियत की गई है. इस दौरान भूमि में किसी भी तरह के निर्माण की अनुमति नहीं है. जवाब प्रस्तुत नहीं करने पर नियमानुसार बेदखली व दंड की कार्रवाई की जाएगी.
भगवान शिव को भी 10 दिनों की मोहलत
नोटिस जारी करने वाले नायब तहसीलदार विक्रांत सिंह ठाकुर का कहना है कि हाई कोर्ट के दिशा-निर्देश के बाद यह कार्रवाई की जा रही है. चूंकि मामला सरकारी जमीन पर बेजा कब्जे का है. हाई कोर्ट में दायर याचिका में 16 लोगों द्वारा जमीन पर कब्जा करना बताया गया था, लेकिन स्थल जांच करने पर 10 नाम सामने आए हैं. इसमें एक शिव मंदिर भी है, जो कब्जे की जमीन पर निर्मित है. सभी को नोटिस जारी करके दस दिनों का समय दिया गया है. उसके बाद आगे की कार्रवाई की जाएगी.
जांजगीर में सिंचाई विभाग ने भेजा था नोटिस
इससे पहले जांजगीर-चांपा जिले के सिंचाई विभाग द्वारा भगवान शंकर को नोटिस जारी किया जा चुका है. कार्यालय अनुविभागीय अधिकारी जांजगीर-शाखा नहर उप संभाग क्रमांक-1 से नवंबर-2021 में भगवान शिव को नोटिस जारी किया गया था. नोटिस में किसी ट्रस्ट या समिति के नाम का उल्लेख नहीं था. शिव मंदिर के नाम से जारी नोटिस में अनुविभागीय अधिकारी ने भगवान भोलेनाथ को लिखा था कि पटवारी हल्का नंबर 10 जांजगीर शाखा नहर की 1988 वर्गफीट जमीन में आपके द्वारा अतिक्रमण किया गया है. शासन के आदेशानुसार शासकीय जमीन पर कब्जा करना कानूनन अपराध की श्रेणी में आता है.
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