Riteshwar Maharaj in Raipur: राष्ट्रपिता महात्मा गांधी (Mahatma Gandhi) को अपशब्द कहने वाले कालीचरण (Kalicharan) को रायपुर सेंट्रल जेल (Raipur Central Jail) से रिहाई मिल गई है. छत्तीसगढ़ (Chhattiasgarh) में अब संत सद्गुरु रितेश्वर महाराज (Riteshwar Maharaj) ने बड़ा बयान दिया है. रितेश्वर महाराज ने कहा है कि महात्मा गांधी को राष्ट्रपिता बोलने के लिए बाध्यता नहीं है. आप सभी सहमत-असहमत हो सकते हैं. हर व्यक्ति को अपनी भाषा पर नियंत्रण रखना चाहिए. लेकिन ये संविधान से तय करना चाहिए.
दरअसल वृंदावन के आनंद धाम के संत सद्गुरु रितेश्वर महाराज रायपुर पहुंचे हैं. यहां के एक निजी होटल में रितेश्वर महाराज ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर देश-विदेश के सभी ज्वलंत मुद्दों पर अपना विचार रखा है. रितेश्वर महाराज ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि पूरी दुनिया पागल हो रही है. 50 से 60 प्रतिशत लोग तनाव में पागल हो रहे हैं. वैश्विक समस्या मनुष्य का साइको होना है. मनुष्य को मरने की फुर्सत नहीं है, इसका इलाज नहीं हुआ तो जीवन में आनंद नहीं आएगा. बॉलीवुड अभिनेता सुशांत सिंह राजपूत की मौत को लेकर भी उन्होंने प्रतिक्रिया दी. रितेश्वर महाराज ने कहा कि सुशांत सिंह राजपूत ने आत्महत्या ही किया है, रिपोर्ट यही आएगी. आज के समय में पैसे भगवान से कम नहीं हैं.
तनाव सिर्फ कांग्रेस को होगी बीजेपी को नहीं होगी
वहीं कांग्रेस के वर्तमान राजनीतिक हालात पर उन्होंने कहा कि तनाव सिर्फ कांग्रेस को होगी, बीजेपी को नहीं होगी, ऐसा नहीं है. मायावती, डॉक्टर और इंजीनियर सब को तनाव है. इसलिए पूरी दुनिया में वृंदावन में लोग स्ट्रेस फ्री जीवन जी रहे हैं. हमारे पास भौतिक वस्तु कम हो सकती है, लेकिन आनंद होनी चाहिए. भारत में हर पार्टी में हमारे ही बच्चे हैं, सब का उद्देश्य भारत का उत्थान है, जिनकी सरकार है, उनसे ज्यादा लोग सहमत हैं. दल से ऊपर उठकर सोचना होगा, पार्टियों को शासन करना है, तो राष्ट्रवाद की बात करते हैं. राष्ट्रवाद कहते ही लोग बीजेपी से जोड़ देते हैं. आप भी राष्ट्रवाद की बात करो. उन्होंने कहा, "राहुल गांधी के आध्यात्मिक ज्ञान से मैं सहमत नहीं हूं, हिंदुत्व को लेकर उन्हें जो ज्ञान है, उससे सहमत नहीं हूं. मुझे मालूम नहीं उन्हें कितना ज्ञान है. हिंदू से ही हिंदुत्व बना है, यहां कोई अल्पसंख्यक नहीं है. सब हिंदू संस्कृति से जुड़े हुए हैं."
"बच्चे माता-पिता के जगह लगा रहे हैं सनी लियोन की तस्वीर"
भारत की शिक्षा व्यवस्था पर रितेश्वर महाराज ने कहा कि मैकाले की शिक्षा में गुलामी का जीवन जीने के लिए सिखाया. विज्ञान और धर्म को अलग-अलग किया, मैकाले की शिक्षा ने धर्म को अलग किया. पदार्थ को जीवन बता दिया. धर्म की परिभाषा और विज्ञान की परिभाषा बदल गई है. बच्चे माता-पिता के जगह सनी लियोन की तस्वीर लगा रहे हैं. आत्महत्या करने वाले ग्लैमर और सुशांत सिंह राजपूत को आइडियल मान रहे हैं. उन्होंने कहा कि तनाव मुक्त होकर काम करने वाले जीवन का आनंद लेते है. 21वीं सदी में हर मनुष्य मशीन हो गया है. मनुष्य को मरने की फुर्सत नहीं है. ग्लोबल वार्मिंग 100 या 500 साल बाद आएगा, अभी तो दिमाग गर्म हो गया है.
भारत में रहने वाले शत-प्रतिशत लोग हिंदू हैं: रितेश्वर महाराज
रितेश्वर महाराज ने कहा कि पूरी दुनिया में इस समय में टेंशन में है. यकीन करिए भूख से नहीं फूड पॉइजनिंग से लोग मर रहे हैं. सबसे ज्यादा आत्महत्या अमेरिका, जापान, स्वीडन में है. पैसे से जीवन में सुख आता है तो ये गलत है. बड़े धनवान व्यक्ति और साधारण व्यक्ति की समस्या एक ही है तनाव. आने वाले 2 से 3 साल में दुनिया के भीतर में कॉन्फ्रेंस केवल स्ट्रेस पर होंगे. जीवन जिया नहीं जाता है, सब यही बोलेंगे. उन्होंने कहा कि भारत में रहने वाले शत-प्रतिशत लोग हिंदू हैं. बौद्ध, जैन, मुस्लिम, सब हिंदू हैं. खतरे में तो धर्म है. द कश्मीर फाइल्स फिल्म में केवल 10 प्रतिशत दिखाई गई, खतरा ज्ञान से खत्म हो सकता है. उन्होंने कहा कि मानवता के प्रति प्रेम रखें, इस्लामिक देश की मानवता चाहिए तो मुबारक हो, लेकिन भारत की मानवता देखिए.
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