राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) प्रमुख मोहन भागवत (Mohan Bhagwat) 19 नवंबर को एकदिवसीय छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) दौरे पर आ रहे हैं. भागवत रायपुर (Raipur) से करीब 80 किलोमीटर दूर बिलासपुर के पास मदकू द्वीप में एक कार्यक्रम में शामिल होंगे. कार्यक्रम में 100 से अधिक घोस वर्ग के स्वयंसेवक पूर्ण गणवेश में प्रदर्शन करेंगे. कार्यक्रम को देखने के लिए 20 से 25 किलोमीटर क्षेत्र के ग्रामीणों को आमंत्रित किया गया है. राज्य के संघ संचालकों ने इसकी तैयारी अभी से शुरू कर दी है.


आरएसएस के छत्तीसगढ़ प्रमुख पुर्नेदु सक्सेना ने बताया कि मोहन भागवत बिलासपुर जिले के मदकू द्वीप में आरएसएस के कार्यक्रम में शामिल होंगे. 19 नवंबर की सुबह मोहन भागवत रायपुर पहुंचेंगे और दोपहर तीन बजे मदकू द्वीप में अयोजित संघ के घोस प्रदर्शन में शिरकत करेंगे. कार्यक्रम के बाद आस-पास के गांवों से आए ग्रामीणों से मुलाकात करेंगे. उन्होंने बताया कि रायपुर और बिलासपुर के 100 से अधिक स्वयंसेवक 18 नवंबर को कार्यक्रम के एक दिन पहले घोस प्रदर्शन का अभ्यास करेंगे. इस पूरे कार्यक्रम को देखने के लिए करीब 5 हजार लोग जुटने का अनुमान लगाया गया है.


छत्तीसगढ़ का प्राचीन पर्यटन स्थल है मदकू द्वीप
मदकू द्वीप छत्तीसगढ़ के प्रमुख पर्यटन स्थलों में से एक है. यह द्वीप शिवनाथ नदी के पानी से घिरा हुआ है. शिवनाथ नदी के बहाव से यह द्वीप दो हिस्सों मे बंट जाता है. एक हिस्सा लगभग 35 एकड़ में है, जो अलग-थलग हो गया है. दूसरा करीब 50 एकड़ का है, जहां 2011 में उत्खनन से पुरावशेष मिले हैं. इस द्वीप पर धूमेश्वर महादेव मंदिर, श्रीराम केवट मंदिर, श्री राधा कृष्ण, श्री गणेश और श्री हनुमान के प्राचीन मंदिर भी हैं.


क्या बोले धरमलाल कौशिक?
वहीं मोहन भागवत के छत्तीसगढ़ दौरे नेता प्रतिपक्ष धरमलाल कौशिक ने कहा कि संघ के कार्यक्रम निरंतर चलता रहता है. संघ प्रमुख का छत्तीसगढ़ आना हम सब के लिए अच्छी बात है. दुर्ग, रायपुर और बिलासपुर में कार्यक्रम हो चुके हैं. मदकू द्वीप बहुत खूबसूरत स्थान है.



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