Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) में 15 मई से राज्य के पांच हजार से अधिक पटवारी हड़ताल पर थे. इससे राज्य में आम जनता के राजस्व संबंधित काम पूरी तरह से ठप्प हो गए थे. एक महीने तक राजस्व विभाग का काम प्रभावित होता रहा. राज्य सरकार ने पटवारियों पर हड़ताल वापस लेने के का दबाव बनाया. यही नहीं सरकार ने सात जून को एस्मा लगा दिया, लेकिन इसके बाद भी पटवारी अपने मांगों को लेकर डटे रहे, लेकिन मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ( Bhupesh Baghel) से  मुलाकात के  बाद अब उन्होंने हड़ताल वापस ले ली है.


दरअसल, लंबे समय तक हड़ताल में रहे पटवारियों ने गुरुवार रात को मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से सीएम हाउस में मुलाकात की. इस दौरान राउंड टेबल चर्चा हुई. पटवारियों को सरकार की तरफ से आश्वासन दिया गया है कि जल्द से जल्द उनकी मांगों को पूरा किया जाएगा. सीएम हाउस में मुख्यमंत्री से मुलाकात के बाद पटवारियों के डेलिगेशन की तरफ प्रदेश राजस्व पटवारी संघ के अध्यक्ष भागवत कश्यप ने सरकार पर भरोसा जताते हुए हड़ताल वापस लेने का एलान कर दिया.


CM से मुलाकात के बाद पटवारी संघ ने क्या कहा
भागवत कश्यप ने मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि सभी मांगों पर चर्चा हुई. राज्य में छात्र परेशान हो रहे थे. इसलिए हमने हड़ताल वापस ले ली है. सरकार संवेदनशील है. हमारी मांगों पर सरकार विचार करेगी. हमें उम्मीद है जल्द से जल्द हमारी मांगे पूरी होगी. मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से हमने अनुरोध किया है कि जल्द से जल्द हमारी मांगों को पूरा किया जाए. उन्होंने कहा है की वो हमारी मांगे पूरी करेंगे. 


पटवारी संघ ने हड़ताल ली वापस
बता दें नया रायपुर के धरना स्थल पर पटवारी संघ 15 मई से हड़ताल पर थे. पटवारियों की अनिश्चितकालीन हड़ताल के चलते आम जनता के राजस्व संबंधी कार्यों को निपटाने में काफी कठिनाई आ रही थी. इसके साथ पटवारियों की हड़ताल के चलते विद्यार्थियों को जाति, निवास, आय प्रमाण पत्र प्राप्त करने में कठिनाई हो रही थी. किसानों को भी परेशानी हो रही थी, लेकिन अब लोगों की समस्याओं को देखते हुए पटवारियों ने अनिश्चितकालीन हड़ताल वापस ले ली है.


क्या है पटवारी संघ के मांगे
पटवारी वेतन विसंगति को दूर कर वेतन में बढ़ाने की मांग कर रहे हैं. इसके साथ साथ वो वरिष्ठता के आधार पर प्रमोशन और राजस्व निरीक्षक के कुल पदों में 50 पदों पर विभागीय परीक्षा के आधार पर पटवारियों के प्रमोशन की मांग है . साथ ही उनकी मांग है कि पांच साल पूरा कर चुके पटवारियों को राजस्व निरीक्षक का प्रशिक्षण दिलाया जाए. पटवारी संघ संसाधन और भत्ते के अलावा अतिरिक्त प्रभार के हल्के का भत्ता देने की मांग कर रहा है.


गौरतलब है कि इससे पहले भी 2020 में पटवारी संघ ने अपनी मांगों को लेकर 15 दिन का हड़ताल किया था. तब भी राज्य मंत्री की तरफ से मांगे पूरी करने के लिए आश्वासन दिया गया था, लेकिन मांगे पूरी नहीं हुई तो फिर से चुनावी साल में हड़ताल की जा रही थी. 


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