Sukma News: सुकमा में बारिश ने छीन लिया आशियाना, सरकार से मुआवजे के लिए आस लगाए बैठे हैं कई परिवार
Sukma Flood News: बीदे दिनों आई बाढ़ की वजह से जो मकान गिर चुके हैं वह आज तक दोबारा नहीं बन पाए हैं. लिहाजा प्रभावित परिवार फुटपाथ, झोपड़ी और किराए के मकान में दिन काटने को मजबूर हो रहे हैं.
Chhattisgarh Latest News: छत्तीसगढ़ के सुकमा जिले में बीते दिनों हुई बारिश से बेघर हुए लोगों को 5 महीने बाद भी अभी तक मुआवजा राशि नहीं मिल पाई है. कई परिवार सरकार से आज भी मुआवजा राशि की उम्मीद लगाए बैठे हैं. सुकमा जिले के कोंटा ब्लॉक में आई बाढ़ से कई लोगो के घर तबाह हो गए, लेकिन 5 महीने बीतने के बावजूद इस बाढ़ से प्रभावित लोग मुआवजा राशि पाने के लिए तहसील के चक्कर काट रहे हैं और उन्हें सिर्फ आश्वासन ही दिया जा रहा है.
आलम यह है कि जुलाई अगस्त माह में आए तीन बार बाढ़ की वजह से जो मकान धराशाई हुए हैं वह आज तक दोबारा नहीं बना पाए हैं, लिहाजा प्रभावित परिवार फुटपाथ, झोपड़ी और किराए के मकान में दिन काटने को मजबूर हो रहे हैं. जनप्रतिनिधि से लेकर प्रशासन के तमाम अधिकारियों के पास गुहार लगाने के बावजूद उन्हें अब तक मुआवजा राशि नहीं मिल पाई है.
5 महीने से मुआवजा राशि मिलने का है इंतजार
दरअसल इस साल बारिश ने बस्तर में जमकर कहर बरपाया था. खासकर बस्तर संभाग के सुकमा और बीजापुर जिले में तीन बार बाढ़ आया, शबरी नदी के बैक वाटर की वजह से सुकमा जिले के कोंटा ब्लॉक के लगभग 10 वार्ड पूरी तरह से बाढ़ के पानी मे जलमग्न हो गए, यहां फंसे बाढ़ प्रभावितों को रेस्क्यू कर बाहर निकाला गया था.
प्रदेश के आबकारी मंत्री कवासी लखमा के इस विधानसभा क्षेत्र में खुद मंत्री ने भी 2 से 3 बार बाढ़ से प्रभावित क्षेत्र का दौरा किया था और प्रभावित लोगों को जल्द से जल्द मुआवजा राशि देने के आदेश दिए थे.लेकिन जुलाई-अगस्त में बाढ़ के बाद आज 5 महीने बीतने को है लेकिन ऐसे कई परिवार हैं जिन्हें मुआवजा राशि ही नहीं मिली है, और वह तहसील और कलेक्ट्रेट के चक्कर काटने को मजबूर हैं.
बाढ़ पीड़ितों का कहना है कि इस साल आई बाढ़ ने उनका सब कुछ छीन लिया, बाढ़ से उनके घर धराशाई होने के साथ ही घर में मौजूद सामान भी खराब हो गए, इसके अलावा सब कुछ बाढ़ में बह गया, जिसके बाद मंत्री के दौरे से उम्मीद थी कि सरकार उनके नुकसान का आंकलन कर मुआवजा राशि देगी, लेकिन 5 महीने बाद भी उन्हें आज तक मुआवजा राशि नहीं मिल पाई, लिहाजा कई परिवार फुटपाथ पर सोने को मजबूर है और कई परिवार उसी जगह झोपड़ी बनाकर रहने को मजबूर है, वहीं कुछ परिवार किराए के मकान में रह रहे हैं.
उनका कहना है कि बाढ़ प्रभावितों को तत्काल मुआवजा वितरण के निर्देश के बाद भी कोंटा ब्लॉक के प्रभावित लोगों को सरकारी मदद नहीं मिल पाई हैं और आज भी कई परिवार अपने घर में वापस नहीं जा पाए हैं.
अपात्र लोगों को भी बांटी गई है राशि
जानकारी के मुताबिक कोंटा में आये बाढ़ की वजह से लगभग 2 हजार लोग प्रभावित हुए थे, जिनका बाढ़ ने सब कुछ छीन लिया था, हालांकि कोंटा ब्लॉक के तहसीलदार रुपेश मरकाम का कहना है कि ऐसे भी जानकारी मिली है कि कुछ अपात्र लोगों को भी मुआवजा राशि बांट दी गयी है, और इसकी जानकारी ली जा रही है, लगभग 90 % मुआवजा राशि बांट दी गई है, लेकिन इसमें पात्र और अपात्र की जानकारी अभी जुटाई जा रही है. वहीं बची 10 % मुआवजा राशि के लिए शासन को पत्र लिखा गया है जल्द ही राशि मिलने की उम्मीद है.
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