Raipur News: छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने देशभर में सर्वश्रेष्ठ मुख्यमंत्री होने का गौरव तो हासिल कर ही लिया है. इसके साथ ही उनकी एक योजना ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी पहचान बनाई है. छत्तीसगढ़ सरकार की महत्वाकांक्षी गोधन न्याय योजना के चर्चे अब देश ही नहीं विदेशों तक होती है.
देश के विभिन्न राज्यों के बाद विदेश में भी लोग इसे जानना और समझना चाहते है. इसलिए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल को इंडोनेशिया में होने वाले अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में बुलाया गया है. पर्यावरण और जलवायु परिवर्तन पर आधारित इस सम्मेलन को एवीवीएन वैश्विक सम्मेलन नाम दिया गया है. मुख्यमंत्री 22 जून को इस सम्मेलन को संबोधित करेंगे.
21 से 24 जून तक चलेगा सम्मेलन
अधिकारियों ने बताया कि इंडोनेशिया की राजधानी जकार्ता में यह सम्मेलन 21 से 24 जून तक चलेगा. इसमें अलग अलग देशों के सवा दो सौ से अधिक वक्ता शामिल होंगे. इस सम्मेलन में शामिल होने के लिए मुख्यमंत्री भूपेश बघेल 20 जून को यहां से रवाना होंगें. मुख्यमंत्री के साथ प्रदेश से एक प्रतिनिधिमंडल भी इंडोनेशिया जाएगा.
जिसमें मुख्यमंत्री के सलाहकारों के साथ ही अधिकारी शामिल होंगे. इस दौरान मुख्यमंत्री बघेल इंडोनेशिया के साथ सिंगापुर और वियतनाम भी जाएंगे. सम्मेलन को जलवायु के मुद्दे पर संबोधित करेंगे. इस दौरान वे गोधन न्याय योजना के जरिए कैसे प्रदेश में जैविक खेती को बढ़ावा दिया जा रहा है. इसकी जानकारी देंगे.
गौरतलब है कि छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री बनने के बाद भूपेश बघेल की यह दूसरी विदेश यात्रा होगी. इससे पहले वे 2020 में 11 से 21 फरवरी तक अमेरिका की यात्रा पर गए थे.
क्या है गोधन न्याय योजना
राज्य की महत्वाकांक्षी सुराजी गांव योजना के अंतर्गत नरवा, गरवा, घुरवा और बाड़ी का संरक्षण एवं संवर्धन किया जा रहा है. इस कार्यक्रम के अंतर्गत पूरे प्रदेश में गौठान स्थापित किया जा रहा है. राज्य शासन द्वारा गौठान की गतिविधियों में विस्तारण करते हुए गौठान में गोबर क्रय करते हुए संग्रहित गोबर से वर्मी कंपोस्ट एवं अन्य उत्पाद तैयार किया जा रहा है.
इस योजना शुभारंभ छत्तीसगढ़ के महत्वपूर्ण पर्व "हरेली" (20 जुलाई, 2020) से किया जा रहा है. इस योजना के क्रियान्वयन से जैविक खेती को बढ़ावा, ग्रामीण एवं शहरी स्तर पर रोजगार के नए अवसर, गौपालन एवं गौ सुरक्षा को प्रोत्साहन के साथ साथ पशु पालकों को आर्थिक लाभ मिल रहा है.
इस योजना का उद्देश्य
छत्तीसगढ़ सरकार की गोधन न्याय योजना का उद्देश्य पशु पालकों की आय में वृद्धि, पशुधन की खुली चराई पर रोक, जैविक खाद के उपयोग को बढ़ावा और रासायनिक उर्वरक उपयोग में कमी, खरीफ एवं रबी फसल सुरक्षा एवं द्विफसलीय क्षेत्र विस्तार, स्थानीय स्तर पर जैविक खाद की उपलब्धता, स्थानीय एवं स्व. सहायता समूहों को रोजगार के अवसर, भूमि की उर्वरता में सुधार, विष रहित खाद्य पदार्थो की उपलब्धता एवं सुपोषण है.
यह भी पढ़ें: