छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में मौजूद इंद्रावती टाइगर रिजर्व में एक और बाघ देखे जाने से वन विभाग और छत्तीसगढ़ सरकार में खुशी का माहौल है. इस नये बाघ को देखे जाने के बाद अब इंद्रावती टाइगर रिजर्व बीजापुर में बाघों की कुल संख्या 5 से बढ़कर 6 हो गई है. दरअसल पार्क के भीतर रिजर्व फॉरेस्ट एरिया में लगाए गए ट्रेप कैमरे में एक नये बाघ की तस्वीर कैद हुई है, इसे W.I.I टाइगर सेल देहरादून द्वारा पार्क में नये बाघ के रूप में पुष्टि की गई है.


अब इंद्रावती टाइगर रिजर्व में 6 बाघों के मौजूद होने की पुष्टि हुई है, दरअसल विभाग के द्वारा इस रिजर्व फॉरेस्ट एरिया में लगातार वन्य जीवों के संरक्षण के लिए कार्य किया जा रहा है, वहीं बाघों की गणना के लिए पूरे रिजर्व फॉरेस्ट एरिया में ट्रैप कैमरा भी लगाए गए हैं, जिसमें नए बाघ की तस्वीर दिखाई दी है.


वहीं इसी इंद्रावती टाइगर रिजर्व में कुछ दिन पहले तेंदुआ के दो शावक मिलने की भी पुष्टि हुई थी, जिन्हें वाइल्ड लाइफ के देखरेख में रायपुर के जंगल सफारी जू में छोड़ा गया है. दरअसल बस्तर के घने जंगलों में मौजूद वन्यजीव संरक्षण के प्रति जागरूकता लाने के लिए लोगों के साथ मिलकर वन्यजीव संरक्षण का कार्य लगातार किया जा रहा है. जिसके फलस्वरूप इंद्रावती टाइगर रिजर्व में एक के बाद एक वन्यजीवों की मिलने की पुष्टि हो रही है.


बाघ के अलावा अन्य वन्य जीव भी हैं मौजूद


दरअसल बस्तर संभाग के बीजापुर जिले में मौजूद इन्द्रावती टाइगर रिजर्व को बाघों के रहवास के लिए उपयुक्त जगह माना गया है, जहां बाघ के अलावा अन्य वन्यजीव भी मौजूद हैं. इस रिजर्व फॉरेस्ट एरिया में पहले ही 5 बाघ की होने की पुष्टि हुई थी और सभी बाघ बड़े हो चुके हैं, वहीं हाल ही में ट्रेप कैमरा में कैद एक और बाघ की दिखने की पुष्टि हुई है.


ऐसे में जिस एरिया में इसे देखा गया है उस एरिया में सुरक्षा भी बढ़ाई गई है, साथ ही इस बाघ तक भोजन पहुंचे इसका भी पूरी तरह से ख्याल रखा जा रहा है, हालांकि जिस जोन में बाघ को देखा गया है उस जोन में बड़ी मात्रा में वन्यजीव भी मौजूद है, वहीं इस टाइगर रिजर्व पार्क में मुख्य रूप से वन भैंसा के साथ ही गौर, तेन्दुआ, भालू, नीलगाय, हिरण, सांभर, जंगली सुअर और अन्य वन्य जीवो का भी यह रहवास स्थल है.


छत्तीसगढ़ का इन्द्रावती टाइगर रिजर्व 2799.086 वर्ग कि.मी. के भौगोलिक क्षेत्र में फैला हुआ है, जो महाराष्ट्र और तेलंगाना के फॉरेस्ट एरिया से लगा हुआ है, बताया जाता है कि यह बाघों के विचरण के लिए उपयुक्त कॉरिडोर का काम करता है.


इधर वाइल्ड लाइफ सीसीएफ अभय श्रीवास्तव ने बताया कि इन्द्रावती टाइगर रिजर्व प्रबंधन वन्यजीवों की मॉनिटरिंग और सुरक्षा का कार्य बेहतर तरीके से कर रहा है, साथ ही मैदानी अमलों के द्वारा पेट्रोलिंग के माध्यम से लगातार वन्यजीवों की सुरक्षा और निगरानी की जा रही है, कुछ दिन पहले ही इन्द्रावती टाइगर रिजर्व के मददेड़ बफर जोन के ग्राम चेरपल्ली में तेन्दुआ के दो शावक पाए गए थे, जिन्हें वर्तमान में जंगल सफारी जू रायपुर में रखा गया है.


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